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हरियाणा में CET परीक्षा के दौरान बिजली कटौती नहीं होगी

हरियाणा सरकार ने 26 और 27 जुलाई को होने वाली CET परीक्षा के दौरान बिजली कटौती नहीं करने का निर्णय लिया है। इस कदम से लगभग 13.47 लाख परीक्षार्थियों को निर्बाध बिजली आपूर्ति मिलेगी, जिससे उनकी परीक्षा की तैयारी पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा। बिजली विभाग ने सभी आवश्यक तैयारियों को अंतिम रूप दे दिया है और इन दिनों किसी भी तकनीकी समस्या से बचने के लिए पूर्व में योजना बनाई गई है। यह निर्णय छात्रों को मानसिक रूप से आश्वस्त करेगा और परीक्षा की सफलता में योगदान देगा।
 

हरियाणा बिजली अपडेट: CET परीक्षा के दौरान बिजली की पूरी व्यवस्था

हरियाणा बिजली अपडेट: CET परीक्षा के दौरान 26 और 27 जुलाई को नहीं होगी बिजली कटौती: हरियाणा सरकार ने CET परीक्षा के दौरान बिजली व्यवस्था को सुचारू रखने के लिए ठोस कदम उठाए हैं।


राज्य के सभी जिलों में 26 और 27 जुलाई को बिजली कटौती नहीं की जाएगी। इस संबंध में विभाग ने सभी आवश्यक तैयारियों को अंतिम रूप दे दिया है।


परीक्षा के लिए विशेष बिजली आदेश जारी


कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट (CET 2024 हरियाणा) के दौरान बिजली आपूर्ति को सुनिश्चित करने के लिए बिजली विभाग ने सभी एससी अधिकारियों को निर्देश दिए हैं। इन दो दिनों में किसी भी तकनीकी या प्रशासनिक समस्या से बचने के लिए पूर्व में तैयारियां की गई हैं।


विभाग ने यह सुनिश्चित किया है कि सुबह और शाम की दोनों शिफ्टों में होने वाली परीक्षा के समय बिजली से जुड़ी कोई भी समस्या छात्रों की तैयारी और परीक्षा पर प्रभाव न डाले।


13.47 लाख परीक्षार्थियों की परीक्षा के लिए बिजली की निगरानी


इस वर्ष CET परीक्षा में लगभग 13.47 लाख परीक्षार्थी शामिल हो रहे हैं। ऐसे में बिजली की निरंतरता बनाए रखना एक बड़ी चुनौती हो सकती थी। इसे ध्यान में रखते हुए सरकार ने पहले से योजना बनाई है।


बिजली विभाग द्वारा भेजे गए पत्र में स्पष्ट किया गया है कि इन तारीखों पर कोई भी योजना या मरम्मत का कार्य नहीं किया जाएगा। CET जैसी महत्वपूर्ण परीक्षा की सफलता के लिए विभाग पूरी जिम्मेदारी से कार्य कर रहा है।


सरकार का सराहनीय कदम—सभी जिलों में निर्बाध बिजली आपूर्ति


हरियाणा सरकार का यह निर्णय बिजली आपूर्ति में स्पष्टता और नागरिक सुविधा के दृष्टिकोण से सराहनीय है। इससे छात्रों को मानसिक रूप से आश्वस्त होकर परीक्षा देने में मदद मिलेगी।


प्रदेश में शिक्षा और प्रशासन के समन्वय की यह मिसाल अन्य राज्यों के लिए भी प्रेरणास्रोत बन सकती है।