हरियाणा में छिपकली के प्राइवेट पार्ट्स की तस्करी का मामला

हरियाणा में चौंकाने वाला मामला
ज्योतिषी द्वारा छिपकली के प्राइवेट पार्ट्स की बिक्री: हरियाणा के फरीदाबाद से एक अजीबोगरीब घटना सामने आई है, जिसने सभी को चौंका दिया है। यहां एक स्वयंभू ज्योतिषी, जो खुद को आध्यात्मिक उपचार का विशेषज्ञ बताता था, छिपकली के प्राइवेट पार्ट्स और दुर्लभ मूंगे (कोरल) की तस्करी कर रहा था। यह सब तंत्र-मंत्र और गुप्त अनुष्ठानों के नाम पर किया जा रहा था। आरोपी की पहचान 38 वर्षीय यज्ञ दत्त के रूप में हुई है, जो सेक्टर-8 में अपने ज्योतिष केंद्र का संचालन कर रहा था।
तस्करी का तरीका
जानकारी के अनुसार, यज्ञ दत्त अपने ज्योतिष कार्यालय और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के माध्यम से इन प्रतिबंधित वस्तुओं की बिक्री करता था। उसकी दुकान में तांत्रिक उपचार के नाम पर मॉनिटर लिजर्ड (बड़ी छिपकली) के जननांग के सूखे टुकड़े और सॉफ्ट मूंगे जैसी दुर्लभ वस्तुएं बेची जा रही थीं। ये सामान कथित तौर पर तांत्रिक अनुष्ठानों और 'गुप्त शक्तियों' को प्राप्त करने के लिए उपयोग किए जाते थे।
गुप्त ऑपरेशन से खुलासा
गुप्त ऑपरेशन में हुआ खुलासा
हरियाणा वन विभाग, पुलिस, वन्यजीव अपराध नियंत्रण ब्यूरो (WCCB) और भारतीय वन्यजीव ट्रस्ट ने मिलकर छापा मारकर आरोपी को रंगे हाथ पकड़ा। छापे के दौरान आरोपी के पास से मॉनिटर लिजर्ड के प्राइवेट पार्ट्स के तीन टुकड़े और सॉफ्ट कोरल के पांच टुकड़े बरामद किए गए।
कानूनी कार्रवाई
गंभीर जुर्म और सजा
यह ध्यान देने योग्य है कि मॉनिटर लिजर्ड वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 की अनुसूची-I में शामिल प्रजाति है, जिसे उच्चतम कानूनी सुरक्षा प्राप्त है। इसके अंगों का व्यापार या संग्रह एक गंभीर अपराध माना जाता है। यदि आरोपी दोषी पाया जाता है, तो उसे 3 से 7 साल की जेल और 10,000 रुपये तक का जुर्माना हो सकता है।
खरीददारों की तलाश
अब खरीददारों की हो रही है तलाश
गुरुग्राम के प्रभागीय वन अधिकारी आरके जांगड़ा ने बताया कि इस मामले ने स्पष्ट कर दिया है कि गुप्त तांत्रिक बाजार में काले कारोबार की गहरी जड़ें हैं। फिलहाल, अधिकारियों ने मामले की जांच तेज कर दी है और यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि इन वस्तुओं को खरीदने वाले लोग कौन हैं और यह नेटवर्क कितनी दूर तक फैला हुआ है।