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हिमाचल हाईकोर्ट ने अवैध खनन पर सख्त निर्देश जारी किए

हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने सोलन जिले के नालागढ़ क्षेत्र में अवैध खनन गतिविधियों पर कड़ा रुख अपनाया है। अदालत ने पुलिस अधीक्षक को निर्देश दिया है कि अवैध खनन में शामिल वाहनों के खिलाफ केवल चालान नहीं, बल्कि कुर्की भी की जाए। इसके अलावा, स्टोन क्रशर इकाइयों का मासिक निरीक्षण करने और प्रदूषण नियंत्रण मानदंडों का पालन सुनिश्चित करने के लिए भी आदेश दिए गए हैं। यह निर्णय एक जनहित याचिका के आधार पर लिया गया है, जिसमें अवैध खनन और सरकारी भूमि पर अतिक्रमण की शिकायत की गई थी।
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हिमाचल हाईकोर्ट ने अवैध खनन पर सख्त निर्देश जारी किए

अवैध खनन गतिविधियों पर कड़ा रुख

शिमला: हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय ने सोलन जिले के नालागढ़ क्षेत्र में अवैध खनन और स्टोन क्रशर इकाइयों द्वारा प्रदूषण नियंत्रण मानदंडों के उल्लंघन के खिलाफ सख्त निर्देश जारी किए हैं। अदालत ने स्पष्ट किया कि पुलिस अधीक्षक सोलन और बद्दी यह सुनिश्चित करेंगे कि अवैध खनन में संलग्न वाहनों के खिलाफ केवल चालान नहीं किया जाए, बल्कि खान और खनिज (विकास और विनियमन) अधिनियम, 1957 और हिमाचल प्रदेश माइनर मिनरल्स रूल्स, 2015 के तहत वाहनों की कुर्की भी की जाए। उन्हें सख्त शर्तों पर ही छोड़ा जाना चाहिए।


मुख्य न्यायाधीश गुरमीत सिंह संधावालिया और न्यायाधीश जिया लाल भारद्वाज की खंडपीठ ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे स्टोन क्रशर इकाइयों का मासिक निरीक्षण करें ताकि नियमों का सख्ती से पालन सुनिश्चित किया जा सके। इसके अलावा, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के सदस्य सचिव को हर चार महीने में क्रशर परिसर का निरीक्षण करने का आदेश दिया गया है।


यह निर्देश जनहित याचिका के निपटारे के दौरान दिए गए। यह याचिका हंदूर पर्यावरण मित्र संस्था द्वारा दायर की गई थी, जिसमें नालागढ़ में अवैध खनन, सरकारी भूमि पर अतिक्रमण और स्टोन क्रशर इकाइयों द्वारा बिना अनुमति के संचालन को चुनौती दी गई थी। अदालत ने याचिकाकर्ता को भविष्य में किसी भी उल्लंघन की स्थिति में याचिका फिर से दायर करने की अनुमति दी है।


कोर्ट को बताया गया कि आठ स्टोन क्रशर इकाइयों से कुल 75,25,800 रुपये की पर्यावरण क्षतिपूर्ति राशि वसूली गई है। दो इकाइयों को कमियां दूर करने के बाद जुर्माना भरकर संचालन की अनुमति दी गई।


पुलिस अधीक्षक बद्दी द्वारा प्रस्तुत हलफनामे में बताया गया कि 31 जुलाई 2025 तक 51 एफआईआर अवैध खनन के लिए दर्ज की गई हैं। 19 मामले अभी विचाराधीन हैं, जबकि 32 मामलों को कोर्ट में भेजा जा चुका है। अवैध खनन में शामिल 30 जेसीबी, 44 टिप्पर, 7 ट्रैक्टर और 2 कारों सहित कई वाहनों को जब्त किया गया है।