बागलुरु में घरेलू सहायिका द्वारा पालतू कुत्ते की हत्या: CCTV फुटेज ने खोली सच्चाई
कर्नाटक में पशु क्रूरता का मामला
कर्नाटक: बागलुरु से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जिसमें एक घरेलू सहायिका पर अपने मालिक के पालतू कुत्ते की हत्या का आरोप लगा है। यह घटना 31 अक्टूबर को एक अपार्टमेंट परिसर में हुई, और इसका वीडियो सीसीटीवी में कैद हो गया। कुत्ते के मालिक, रशी पूजाड़ी ने इस मामले की रिपोर्ट पुलिस में दर्ज कराई, जिसके बाद पुलिस ने कार्रवाई शुरू की।
घरेलू सहायिका का क्रूर कृत्य
कुत्ते को लिफ्ट में फेंकना
घटना के अनुसार, घरेलू सहायिका पुष्पलता, जो परिवार के साथ लगभग डेढ़ महीने से काम कर रही थी, ने कुत्ते को लिफ्ट में फेंक दिया और उस पर बर्बरता की। सीसीटीवी फुटेज में यह स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है कि उसने कुत्ते को गंभीर चोटें पहुंचाईं। इसके बाद, गोofy के मालिक रशी पूजाड़ी ने बागलुरु पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई, जिसके परिणामस्वरूप FIR दर्ज की गई।
पुलिस की कार्रवाई
कानूनी कार्रवाई
पुष्पलता के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 325 के तहत मामला दर्ज किया गया है, जो जानबूझकर जानवरों को नुकसान पहुंचाने या उनकी हत्या को अपराध मानता है। इस अपराध के लिए आरोपी को पांच साल तक की सजा और जुर्माना हो सकता है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यह अपराध बिना वारंट के गिरफ्तारी की अनुमति देता है। फिलहाल, आरोपी की गिरफ्तारी के लिए पुलिस द्वारा तलाशी अभियान जारी है, लेकिन पुष्पलता फरार है।
पशु क्रूरता की बढ़ती घटनाएं
महादेवीपुरा में एक और घटना
बेंगलुरु के महादेवीपुरा क्षेत्र में जून में एक और चौंकाने वाली घटना हुई थी, जहां एक महिला ने अपने लैब्राडोर कुत्ते की हत्या कर दी और उसके शव को कई दिनों तक अपने अपार्टमेंट में छिपाकर रखा। ऐसा प्रतीत होता है कि यह हत्या किसी तंत्र-मंत्र के अनुष्ठान का हिस्सा थी। आरोपी महिला, त्रिपर्णा पैक, जो पश्चिम बंगाल की निवासी है, के खिलाफ पशु क्रूरता अधिनियम और IPC के तहत मामला दर्ज किया गया था।
संवेदनशीलता की आवश्यकता
ये घटनाएँ बेंगलुरु में पशु क्रूरता के बढ़ते मामलों को दर्शाती हैं। इन घटनाओं ने पशु संरक्षण और उनके अधिकारों के प्रति जागरूकता की आवश्यकता को और अधिक उजागर किया है। भारतीय कानूनों के तहत पशु क्रूरता को गंभीर अपराध माना जाता है, लेकिन ऐसी घटनाएँ समाज में एक कड़े संदेश के रूप में उभरकर आती हैं।
दोषियों के खिलाफ कार्रवाई
पशु क्रूरता के मामलों में दोषियों को सजा दिलवाने के लिए समाज, पुलिस और कानून व्यवस्था को मिलकर काम करना होगा। इन घटनाओं ने यह सिद्ध कर दिया है कि जानवरों के प्रति संवेदनशीलता और उनके अधिकारों का सम्मान करना बेहद आवश्यक है। पुलिस द्वारा दोषियों की गिरफ्तारी और न्यायिक प्रक्रिया को जल्दी से जल्दी पूरा करने की जरूरत है ताकि भविष्य में ऐसी क्रूर घटनाओं को रोका जा सके।