अडाणी एयरपोर्ट्स को मिली 750 मिलियन डॉलर की फंडिंग, एयरपोर्ट्स में होगा सुधार
भारत के हवाई सफर में नया मोड़
भारत के हवाई यात्रा क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण विकास हुआ है। अडाणी एयरपोर्ट्स होल्डिंग्स लिमिटेड (AAHL) ने विदेशी बैंकों से 750 मिलियन डॉलर (लगभग 6,200 करोड़ रुपये) की फंडिंग प्राप्त की है। इस राशि का उपयोग कंपनी अपने छह प्रमुख एयरपोर्ट्स के उन्नयन के लिए करेगी, जिससे यात्रियों के लिए यात्रा और भी सुगम और आरामदायक बनेगी। यह फंडिंग यह भी दर्शाती है कि विदेशी निवेशक भारत के हवाई यात्रा के भविष्य में विश्वास रखते हैं। AAHL अब अपने एयरपोर्ट्स को और अधिक उन्नत बनाने के लिए तेजी से कार्य कर रही है।
अंतरराष्ट्रीय बैंकों से मिली फंडिंग
अडाणी एयरपोर्ट्स होल्डिंग्स लिमिटेड ने अंतरराष्ट्रीय बैंकों के एक समूह से 750 मिलियन अमेरिकी डॉलर की फंडिंग जुटाई है। यह राशि 'एक्सटर्नल कमर्शियल बॉरोइंग' (ECB) के माध्यम से प्राप्त की गई है। इस सौदे का नेतृत्व फर्स्ट अबू धाबी बैंक, बार्कलेज पीएलसी और स्टैंडर्ड चार्टर्ड बैंक ने किया। कंपनी इस धनराशि का उपयोग मौजूदा 400 मिलियन डॉलर के कर्ज को चुकाने और अपने छह प्रमुख एयरपोर्ट्स तथा नॉन-एरोनॉटिकल बिजनेस के विस्तार के लिए करेगी।
एयरपोर्ट्स के विस्तार और सेवाओं में सुधार
इस फंडिंग से अहमदाबाद, लखनऊ, मंगलुरु, जयपुर, गुवाहाटी और तिरुवनंतपुरम एयरपोर्ट्स में इन्फ्रास्ट्रक्चर में सुधार और क्षमता बढ़ाने का कार्य किया जाएगा। इसके अलावा, ड्यूटी फ्री, रिटेल, फूड एंड बेवरेज (F&B) और अन्य सेवाओं का भी विस्तार होगा। वित्तीय वर्ष 2024-25 में AAHL ने 94 मिलियन यात्रियों को सेवाएं दीं, जबकि इसकी कुल क्षमता 110 मिलियन थी। कंपनी का लक्ष्य 2040 तक अपनी सालाना यात्री क्षमता को 300 मिलियन तक बढ़ाना है। नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट की शुरुआत भी जल्द होने वाली है, जिसकी पहली चरण की क्षमता 20 मिलियन होगी और इसे आगे चलकर 90 मिलियन तक बढ़ाया जाएगा।
2040 तक यात्री क्षमता को तीन गुना करने का लक्ष्य
AAHL के CEO अरुण बंसल ने कहा, 'दुनिया की प्रमुख वित्तीय कंपनियों का हम पर विश्वास दिखाता है कि भारत का हवाई यात्रा क्षेत्र कितना आगे बढ़ सकता है। हम तकनीक का उपयोग करके यात्रियों को बेहतर अनुभव देना चाहते हैं। साथ ही, हम ऐसे हवाई अड्डे बनाना चाहते हैं जो पर्यावरण के अनुकूल हों और आसपास के समुदायों की मदद करें।' उन्होंने यह भी कहा कि कंपनी 'गेटवे टू गुडनेस' की सोच के साथ काम कर रही है और हमेशा बेहतरीन सेवाएं देने का प्रयास कर रही है।
भारत की सबसे बड़ी प्राइवेट एयरपोर्ट कंपनी बनने की दिशा में
AAHL की स्थापना 2019 में अडाणी एन्टरप्राइजेज लिमिटेड की 100% सहायक कंपनी के रूप में हुई थी। कंपनी ने एयरपोर्ट संचालन और विकास के लिए भारत सरकार के छह हवाई अड्डों की बोली जीतकर इस क्षेत्र में कदम रखा। इसके बाद AAHL ने मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड और नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड में 74% हिस्सेदारी प्राप्त की। वर्तमान में AAHL आठ हवाई अड्डों का संचालन कर रही है और यह भारत के कुल हवाई यात्रियों का 23% और कार्गो ट्रैफिक का 29% हिस्सा नियंत्रित करती है।