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अमेरिकी प्रशासन का इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों पर टैरिफ लगाने का प्रस्ताव

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का प्रशासन आयातित इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों पर टैरिफ लगाने की योजना बना रहा है, जो चिप्स की संख्या पर निर्भर करेगा। इस प्रस्ताव का उद्देश्य निर्माताओं को अमेरिका में उत्पादन स्थानांतरित करने के लिए प्रेरित करना है। हालांकि, इससे उपभोक्ता वस्तुओं की लागत में वृद्धि और मुद्रास्फीति में बढ़ोतरी की संभावना है। जानें इस नीति के संभावित प्रभाव और अर्थशास्त्रियों की चेतावनियों के बारे में।
 

टैरिफ लगाने की योजना

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नेतृत्व में प्रशासन आयातित इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों पर टैरिफ लगाने की योजना बना रहा है, जो उन उपकरणों में लगे चिप्स की संख्या पर निर्भर करेगा। सूत्रों के अनुसार, अमेरिकी वाणिज्य विभाग इस प्रस्ताव के तहत उत्पाद के अनुमानित चिप मूल्य के प्रतिशत के रूप में टैरिफ की गणना करेगा। यह कदम निर्माताओं को अमेरिका में उत्पादन स्थानांतरित करने के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से उठाया गया है। व्हाइट हाउस के प्रवक्ता कुश देसाई ने रॉयटर्स को बताया कि अमेरिका को सेमीकंडक्टर उत्पादों के लिए विदेशी आयात पर निर्भर नहीं रहना चाहिए, क्योंकि यह हमारी राष्ट्रीय और आर्थिक सुरक्षा के लिए आवश्यक है।


विभिन्न उपायों का समावेश

ट्रंप प्रशासन टैरिफ, कर कटौती, विनियमन और ऊर्जा प्रचुरता के माध्यम से महत्वपूर्ण विनिर्माण को अमेरिका में वापस लाने के लिए एक बहुआयामी दृष्टिकोण अपना रहा है। हालांकि, प्रभावित उत्पादों की श्रेणी, टैरिफ दरें और संभावित छूटों के बारे में अभी भी अनिश्चितता बनी हुई है। वाणिज्य विभाग चिप सामग्री पर 25% और जापान तथा यूरोपीय संघ से आने वाले इलेक्ट्रॉनिक्स पर 15% की दर तय करने पर विचार कर रहा है, लेकिन ये आंकड़े अभी प्रारंभिक स्तर पर हैं। यदि इसे लागू किया गया, तो यह नीति टूथब्रश से लेकर लैपटॉप तक उपभोक्ता वस्तुओं की एक विस्तृत श्रृंखला पर लागू होगी, जिससे अमेरिकी परिवारों की लागत में संभावित वृद्धि हो सकती है।


मुद्रास्फीति पर प्रभाव

अर्थशास्त्रियों ने चेतावनी दी है कि इससे मुद्रास्फीति में वृद्धि हो सकती है। अमेरिकन एंटरप्राइज इंस्टीट्यूट के अर्थशास्त्री माइकल स्ट्रेन के अनुसार, इस कदम से उपभोक्ता मूल्य बढ़ेंगे, जबकि अमेरिका पहले से ही मुद्रास्फीति की समस्या का सामना कर रहा है। उन्होंने कहा कि आयातित वस्तुओं पर अधिक शुल्क लगने से घरेलू स्तर पर उत्पादित वस्तुएं भी महंगी हो सकती हैं। ट्रंप ने इस वर्ष पहले ही कई टैरिफ लागू किए हैं, जिनमें ब्रांडेड दवाओं पर 100% और भारी ट्रकों पर 25% शुल्क शामिल हैं। इससे पहले अप्रैल में, उनके प्रशासन ने फार्मास्यूटिकल्स और सेमीकंडक्टर की जांच शुरू की थी और विदेशी निर्भरता को राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा बताया था।