फिच ने भारत की विकास दर का अनुमान घटाया, अमेरिकी टैरिफ का असर
अर्थव्यवस्था पर अमेरिकी टैरिफ का प्रभाव
अमेरिकी टैरिफ का भारतीय अर्थव्यवस्था पर प्रभाव
हाल ही में अमेरिका द्वारा भारतीय निर्यातकों पर लागू की गई नई टैरिफ दरों का भारतीय अर्थव्यवस्था पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। इसी कारण, आर्थिक विशेषज्ञों ने बताया कि इन टैरिफ के चलते भारत के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की विकास दर में कमी आ सकती है। शुक्रवार को फिच ने भी अपने पूर्वानुमान को घटाते हुए जीडीपी वृद्धि दर को 6.3 प्रतिशत पर निर्धारित किया।
फिच का पूर्वानुमान
अप्रैल में, फिच ने 2025-26 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर 6.4 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। हाल ही में जारी इंडिया कॉरपोरेट्स क्रेडिट ट्रेंड्स रिपोर्ट में फिच ने कहा कि वित्त वर्ष 2026 के दौरान जीडीपी वृद्धि दर 6.3 प्रतिशत रहने की उम्मीद है। मजबूत बुनियादी ढांचागत खर्च से सीमेंट, बिजली, पेट्रोलियम उत्पाद, इस्पात और इंजीनियरिंग कंपनियों की मांग में वृद्धि होने की संभावना है।
भारतीय शेयर बाजार में गिरावट
अमेरिकी राष्ट्रपति द्वारा टैरिफ के संबंध में भारत के खिलाफ सख्त रुख अपनाने की घोषणा के बाद, भारतीय शेयर बाजार ने निराशाजनक प्रदर्शन किया। गुरुवार को शेयर बाजार में गिरावट आई और शुक्रवार को भी यह लाल निशान पर बंद हुआ। बेंचमार्क सूचकांक और निफ्टी में लगभग एक प्रतिशत की गिरावट देखी गई। बीएसई सेंसेक्स 585.67 अंक या 0.72 प्रतिशत गिरकर 80,599.91 अंक पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान यह 690.01 अंक या 0.84 प्रतिशत गिरकर 80,495.57 अंक तक पहुंच गया। एनएसई निफ्टी 203.0 अंक या 0.82 प्रतिशत गिरकर 24,565.35 अंक पर बंद हुआ।