भारत में मोबाइल नंबर सत्यापन शुल्क: हर OTP पर अब देना होगा शुल्क
मोबाइल नंबर सत्यापन शुल्क का नया नियम
Mobile Number Verification Charges India: अब हर OTP के लिए आपको शुल्क चुकाना होगा, जानें नया नियम: (डिजिटल पारदर्शिता) और (ऑनलाइन धोखाधड़ी रोकने) के उद्देश्य से, दूरसंचार विभाग (DoT) ने एक नया प्रस्ताव प्रस्तुत किया है। इस प्रस्ताव के अनुसार, सभी संस्थाओं के लिए मोबाइल नंबर सत्यापन के लिए DoT के प्लेटफॉर्म का उपयोग करना अनिवार्य होगा। इसके साथ ही, हर OTP सत्यापन पर शुल्क भी देना होगा।
बैंकों को प्रति सत्यापन ₹1.50 और अन्य डिजिटल सेवाओं को ₹3 तक का भुगतान करना होगा। यह नियम (Mobile Number Verification Charges India) के तहत लागू किया जाएगा।
बैंकों और फिनटेक कंपनियों पर बढ़ेगा बोझ
बैंकिंग और फिनटेक क्षेत्र में OTP सत्यापन एक सामान्य प्रक्रिया है। हर लेन-देन, लॉगिन या पासवर्ड रीसेट के लिए OTP भेजा जाता है। अब इन सभी सत्यापनों पर शुल्क लगने से कंपनियों की लागत में वृद्धि होगी। इसका सीधा प्रभाव ग्राहकों पर भी पड़ सकता है, क्योंकि कंपनियां इस अतिरिक्त खर्च को सेवा शुल्क में जोड़ सकती हैं।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह नियम (Mobile Number Verification Charges India) डिजिटल सुरक्षा को मजबूत करेगा, लेकिन साथ ही आम जनता की जेब पर भी असर डालेगा।
ग्रामीण और निम्नवर्ग होंगे सबसे अधिक प्रभावित
भारत में करोड़ों परिवारों के पास एक ही मोबाइल नंबर होता है, जिसे पूरा परिवार साझा करता है। पेंशन, बैंकिंग, शिक्षा और सरकारी योजनाओं तक की जानकारी इसी नंबर से जुड़ी होती है। यदि हर खाते के लिए अलग मोबाइल नंबर की अनिवार्यता होती है, तो ग्रामीण और निम्नवर्ग के लोग डिजिटल सेवाओं से वंचित हो सकते हैं।
इसलिए यह आवश्यक है कि (Mobile Number Verification Charges India) नियम को लागू करते समय सामाजिक और आर्थिक पहलुओं को ध्यान में रखा जाए। डिजिटल समावेशिता को बनाए रखना सरकार की प्राथमिकता होनी चाहिए।