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मीशो की IPO लिस्टिंग: विदित आत्रे बने अरबपति, जानें इस सफलता की कहानी

सोशल कॉमर्स प्लेटफॉर्म मीशो ने शेयर बाजार में शानदार शुरुआत की है, जिससे इसके सह-संस्थापक विदित आत्रे अरबपति बन गए हैं। लिस्टिंग के पहले दिन मीशो के शेयरों में 74 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जिससे विदित आत्रे की संपत्ति 1 अरब डॉलर तक पहुंच गई। जानें मीशो की स्थापना, विकास और संघर्ष की कहानी, जिसने इसे भारतीय स्टार्टअप इतिहास में एक महत्वपूर्ण स्थान दिलाया है।
 

मीशो की ऐतिहासिक IPO लिस्टिंग


नई दिल्ली: भारतीय स्टार्टअप क्षेत्र के लिए आज का दिन एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुआ है, जब सोशल कॉमर्स प्लेटफॉर्म मीशो ने शेयर बाजार में शानदार शुरुआत की। IPO के दिन ही कंपनी के सह-संस्थापक और CEO विदित आत्रे अरबपति बन गए। मीशो के शेयरों में लिस्टिंग के पहले दिन 74 प्रतिशत की अभूतपूर्व वृद्धि देखी गई, जिसने निवेशकों और स्टार्टअप समुदाय को हैरान कर दिया।


शेयरों में अभूतपूर्व वृद्धि

लिस्टिंग के दिन मीशो का शेयर अपने इश्यू प्राइस ₹111 से बढ़कर ₹193 प्रति शेयर तक पहुंच गया। इस वृद्धि का सबसे बड़ा लाभ विदित आत्रे को मिला, जिनकी कुल संपत्ति अब 1 अरब डॉलर यानी लगभग ₹9,128 करोड़ हो गई है। विदित आत्रे के पास कंपनी के 47.25 करोड़ शेयर हैं, जो उनकी कुल हिस्सेदारी का लगभग 11.1 प्रतिशत है।


दूसरे सह-संस्थापक संजीव बर्नवाल भी इस सफलता से अछूते नहीं रहे। उनके पास 31.6 करोड़ शेयर हैं, जिनकी लिस्टिंग के बाद कीमत लगभग ₹6,099 करोड़ आंकी गई है। यह उपलब्धि भारतीय स्टार्टअप इतिहास में एक महत्वपूर्ण अध्याय बन गई है।


मीशो की स्थापना और विकास

मीशो की स्थापना 2015 में विदित आत्रे और संजीव बर्नवाल ने की थी। यह प्लेटफॉर्म अब भारत के सबसे बड़े सोशल कॉमर्स नेटवर्क में से एक माना जाता है। मीशो छोटे व्यवसायियों और घरेलू उद्यमियों को रीसेलर्स के माध्यम से ऑनलाइन उत्पाद बेचने का अवसर प्रदान करता है, जिससे लाखों लोगों को रोजगार और आय का साधन मिला है।


प्रमुख निवेशकों का समर्थन

कंपनी में कई प्रमुख वैश्विक निवेशकों ने विश्वास जताया है, जिनमें Meta, SoftBank, Sequoia Capital, Y Combinator, Naspers और Elevation Capital शामिल हैं। इन निवेशकों की भागीदारी ने मीशो को भारत की सबसे चर्चित डिजिटल कॉमर्स कंपनियों में से एक बना दिया है।


विदित आत्रे वर्तमान में कंपनी के चेयरमैन, मैनेजिंग डायरेक्टर और CEO के रूप में कार्यरत हैं। वे IIT दिल्ली से इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में स्नातक हैं और इससे पहले ITC लिमिटेड और इनमोबी जैसी कंपनियों में काम कर चुके हैं। उन्हें Forbes और Fortune जैसे प्रतिष्ठित मंचों पर कई बार सम्मानित किया गया है।


संघर्ष से सफलता की ओर

हालांकि, मीशो का सफर आसान नहीं रहा। कंपनी का प्रारंभिक नाम 'Fashnear' था, जो एक हाइपरलोकल फैशन डिलीवरी ऐप था, लेकिन यह मॉडल सफल नहीं हो पाया। बाद में, रणनीति में बदलाव किया गया और सोशल कॉमर्स मॉडल अपनाया गया, जिसने मीशो की किस्मत बदल दी। IPO की यह ऐतिहासिक लिस्टिंग उसी संघर्ष और नवाचार की सबसे बड़ी जीत मानी जा रही है।