किसानों के लिए डिजिटल क्रांति: एग्री स्टैक से 6000 करोड़ रुपये की सहायता
एग्री स्टैक: किसानों के लिए नई डिजिटल पहल
किसानों के लिए एग्री स्टैक: 6000 करोड़ रुपये की सहायता! एग्री स्टैक ने भारतीय कृषि में एक नई दिशा दी है। नई दिल्ली में आयोजित राष्ट्रीय सम्मेलन में डिजिटल कृषि मिशन की प्रगति और भविष्य की योजनाओं पर चर्चा की गई।
किसानों को 6000 करोड़ रुपये की विशेष वित्तीय सहायता और किसान आईडी जैसी पहलों के माध्यम से स्मार्ट सेवाएं प्रदान की जाएंगी। यह कदम छोटे और सीमांत किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण बदलाव साबित होगा।
डिजिटल कृषि की नई दिशा
नई दिल्ली के सुषमा स्वराज भवन में आयोजित सम्मेलन में कृषि सचिव देवेश चतुर्वेदी ने एग्री स्टैक की क्षमता पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि डिजिटल भूमि रिकॉर्ड और किसान रजिस्ट्री को जोड़कर पारदर्शी शासन की स्थापना की जा सकती है।
महाराष्ट्र, केरल, बिहार और ओडिशा के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए हैं। यह सहयोग किसानों को डिजिटल ऋण सेवाओं और योजनाओं तक आसान पहुंच प्रदान करेगा। सम्मेलन में डिजिटल सत्यापन प्रमाण पत्र की शुरुआत भी की गई।
6000 करोड़ की सहायता और तकनीकी प्रगति
एग्री स्टैक के लिए 6000 करोड़ रुपये की सहायता की घोषणा की गई है, जिसमें से 4000 करोड़ रुपये किसान रजिस्ट्री और 2000 करोड़ रुपये डिजिटल फसल सर्वेक्षण के लिए निर्धारित किए गए हैं। रिमोट सेंसिंग और एआई टूल्स से डेटा की सटीकता में वृद्धि होगी।
महाराष्ट्र ने किसान रजिस्ट्री में प्रगति और एआई आधारित सलाह की मांग की है। उत्तर प्रदेश ने एमएसपी ई-खरीद के लिए एग्री स्टैक के उपयोग का उल्लेख किया। कर्नाटक ने मृदा स्वास्थ्य कार्ड और आपदा राहत में नवाचार साझा किए।
किसानों को सशक्त बनाने की पहल
एग्री स्टैक के तहत किसान आईडी और डिजिटल सत्यापन प्रमाण पत्र से किसानों को अपनी भूमि और फसल की जानकारी सुरक्षित रूप से साझा करने की सुविधा मिलेगी। यह प्रमाण पत्र डिजिलॉकर से जुड़ा है और भूमि म्यूटेशन पर स्वतः अपडेट होता है।
इसके अलावा, शिकायत निवारण पोर्टल और बहुभाषी समर्थन से किसानों की समस्याओं का समाधान आसानी से किया जा सकेगा। यह डिजिटल ढांचा छोटे किसानों को सशक्त बनाएगा और कागजी कार्रवाई को कम करेगा।