प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना: कारीगरों के लिए नई उम्मीद
प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना का परिचय
प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना देश के कारीगरों और दस्तकारों के लिए एक महत्वपूर्ण पहल है। इस योजना के माध्यम से सरकार पारंपरिक कौशल वाले व्यक्तियों को नई ऊर्जा प्रदान कर रही है।
आर्थिक सहायता और संसाधन
इस योजना के तहत, लाभार्थियों को प्रतिदिन 500 रुपये की वित्तीय सहायता, मुफ्त टूलकिट और सरल शर्तों पर ऋण उपलब्ध कराया जाता है। सरकार का उद्देश्य है कि कारीगर अपने कौशल को विकसित करें, अपना व्यवसाय आरंभ करें और आत्मनिर्भर बनें।
कौन लाभ उठा सकता है?
कौन उठा सकता है इस PM Vishwakarma योजना का फायदा?
यह योजना उन व्यक्तियों के लिए है जो पीढ़ियों से पारंपरिक व्यवसायों में लगे हुए हैं, जैसे कि बढ़ई, लोहार, कुम्हार, दर्जी और सुनार। सरकार इन कारीगरों को आर्थिक और तकनीकी सहायता प्रदान करके उनके व्यवसाय को बढ़ावा देना चाहती है।
इससे न केवल उनकी जीवनशैली में सुधार होगा, बल्कि भारतीय शिल्प और कारीगरी को भी नया जीवन मिलेगा।
विशेष प्रशिक्षण और सहायता
ट्रेनिंग के साथ 500 रुपये रोज़
इस योजना में कारीगरों को उनके कौशल को और बेहतर बनाने के लिए विशेष प्रशिक्षण प्रदान किया जाता है। इस प्रशिक्षण के दौरान, सरकार प्रतिदिन 500 रुपये का स्टाइपेंड देती है।
यह राशि इसलिए दी जाती है ताकि प्रशिक्षण के दौरान उनकी आय पर कोई नकारात्मक प्रभाव न पड़े और वे पूरी ऊर्जा के साथ अपने कौशल को निखार सकें।
आवेदन प्रक्रिया
ऑनलाइन और ऑफलाइन आवेदन का आसान तरीका
इस योजना में शामिल होने के लिए आप ऑनलाइन या ऑफलाइन दोनों तरीकों से आवेदन कर सकते हैं। ऑनलाइन आवेदन के लिए pmvishwakarma.gov.in पर जाकर फॉर्म भरें।
यदि आप ऑफलाइन आवेदन करना चाहते हैं, तो नजदीकी सीएससी केंद्र पर अपने दस्तावेज जमा करके रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। दस्तावेजों की जांच और पात्रता की पुष्टि के बाद आपका आवेदन स्वीकार कर लिया जाएगा।
उपकरण और ऋण
फ्री टूलकिट और सस्ता लोन
इस योजना के तहत लाभार्थियों को 15,000 रुपये की टूलकिट प्रदान की जाती है, जिससे वे अपने काम के लिए आवश्यक उपकरण खरीद सकते हैं। इसके अलावा, कम ब्याज दर पर ऋण भी उपलब्ध है।
पहले चरण में 1 लाख रुपये तक का ऋण मिलता है, और इसे चुकाने के बाद आप 2 लाख रुपये तक के दूसरे ऋण के लिए आवेदन कर सकते हैं।