कर्नाटक में कार्डियक अरेस्ट के मामलों का असली कारण: कोविड वैक्सीन नहीं, जीवनशैली है जिम्मेदार
कोविड वैक्सीन और कार्डियक अरेस्ट का संबंध
कोविड वैक्सीन और कार्डियक अरेस्ट: कर्नाटक में कार्डियक अरेस्ट से होने वाली मौतों की जांच के लिए बनाई गई विशेष समिति ने इस मुद्दे पर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की है। समिति ने पाया कि राज्य में अचानक होने वाली मौतों का मुख्य कारण कोरोना वैक्सीन नहीं है। ICMR और एम्स द्वारा की गई रिसर्च में यह स्पष्ट किया गया है कि कार्डियक अरेस्ट और कोविड वैक्सीन के बीच कोई संबंध नहीं है। असल में, खराब जीवनशैली ही इन मौतों का मुख्य कारण है। कर्नाटक की समिति ने भी इस बात की पुष्टि की है कि कोविड-19 वैक्सीन और युवाओं की मौतों का कोई संबंध नहीं है।
रिपोर्ट के मुख्य बिंदु
रिपोर्ट में क्या कहा गया है?
कर्नाटक की विशेष रिपोर्ट के अनुसार, वैक्सीन का मौतों की बढ़ती संख्या से कोई संबंध नहीं है। हार्ट अटैक से होने वाली मौतों के पीछे कई अन्य कारण हैं, जिनका संबंध जीवनशैली से है। युवाओं को इन कारणों के प्रति जागरूक होना आवश्यक है। इनमें व्यवहार, अनुवांशिकी और पर्यावरणीय जोखिम शामिल हैं। रिपोर्ट में यह भी उल्लेख किया गया है कि वैक्सीन लगने के एक साल के भीतर जोखिम को ध्यान में रखा जा सकता था, लेकिन महामारी अब तीन साल पहले समाप्त हो चुकी है, इसलिए अब इस संबंध को नहीं माना जा सकता।
जीवनशैली के कारक
जीवनशैली के कारण
समिति की रिपोर्ट में यह पाया गया है कि कार्डियक अरेस्ट के मामलों में वृद्धि के पीछे उच्च रक्तचाप, मधुमेह, डिसलिपिडेमिया, और अत्यधिक धूम्रपान और शराब का सेवन जैसे कारक शामिल हैं। ये सभी पुराने कारण हैं, लेकिन ये जोखिम को बढ़ाते हैं।
विशेषज्ञों की चेतावनी
विशेषज्ञों की सलाह
हालांकि, जीवनशैली के कारक अपने आप में जोखिम को बढ़ा रहे हैं। पैनल के डॉक्टरों ने बताया कि स्वस्थ रहने के लिए जिम जाना फायदेमंद है, लेकिन स्टेरॉयड, हार्मोन और हर्बल सप्लीमेंट का बिना डॉक्टर की सलाह के सेवन करना खतरनाक हो सकता है।
ICMR के पूर्व प्रमुख की टिप्पणी
ICMR के डॉक्टरों की राय
ICMR के पूर्व निदेशक डॉ. बलराम भार्गव ने एक मीडिया चैनल से बातचीत में कहा कि मौतों का मुख्य कारण धूम्रपान है। उन्होंने बताया कि 18 से 45 वर्ष के बीच के 50% से अधिक युवा धूम्रपान करते हैं और उनका शराब पीने का भी इतिहास होता है। ये कारण शुगर और उच्च रक्तचाप जैसी समस्याओं को जन्म देते हैं, जो अंततः कार्डियक अरेस्ट का कारण बनते हैं।