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कलेसर नेशनल पार्क में जंगल सफारी का उद्घाटन 18 नवंबर को

मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी 18 नवंबर को कलेसर नेशनल पार्क में नौ किलोमीटर लंबी जंगल सफारी का उद्घाटन करेंगे। इस अवसर पर नए मुख्यद्वार का भी उद्घाटन होगा, जिससे सैलानी आसानी से जंगल सफारी का आनंद ले सकेंगे। पार्क में दूरबीनों की व्यवस्था की गई है और पहली बार एक ट्री हाउस का निर्माण भी किया जा रहा है। जानें इस सफारी के बारे में और क्या खास है।
 

मुख्यमंत्री का कलेसर जंगल सफारी दौरा

यमुनानगर (कलेसर जंगल सफारी): मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी 18 नवंबर को कलेसर नेशनल पार्क में नौ किलोमीटर लंबी जंगल सफारी का अनुभव करेंगे। इस सफारी के ट्रैक को पूरी तरह से समतल किया गया है, जिससे सफारी के दौरान वे दूरबीन से वन्य जीवों का अवलोकन कर सकेंगे।


दूरबीनों की व्यवस्था

वन्य प्राणी विभाग ने इस सफारी के लिए आठ से दस दूरबीनें उपलब्ध कराई हैं। नायब सिंह सैनी इस पार्क में जंगल सफारी का आनंद लेने वाले पहले मुख्यमंत्री होंगे। कलेसर नेशनल पार्क हिमाचल प्रदेश की शिवालिक पहाड़ियों से सटा हुआ है और इसका क्षेत्रफल 11570 एकड़ है। यहां हाथी, चीता, बाघ, सांभर, खरगोश, अजगर, जंगली मोर, चीतल, हिरण, कोबरा, बंदर और लंगूर जैसे कई जीव-जंतु निवास करते हैं।


नए द्वार का उद्घाटन

एक से एंट्री तो दूसरे से होगी निकासी: पहले कलेसर नेशनल पार्क का केवल एक मुख्यद्वार था, लेकिन अब दो द्वार बनाए जा रहे हैं। नए मुख्यद्वार से प्रवेश होगा, जबकि पुराने द्वार से जंगल सफारी का निकासी किया जाएगा। नए मुख्यद्वार के पास पहली बार एक टिकट हाउस भी बनाया जा रहा है, जहां से सैलानी जंगल सफारी के लिए टिकट खरीद सकेंगे। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी 18 नवंबर को इस नए मुख्यद्वार का उद्घाटन करेंगे और वन्य प्राणी विभाग के परिसर में एक जनसभा को भी संबोधित करेंगे।


ट्री हाउस का निर्माण

कलेसर जंगल बहुत बड़ा और घना है। यहां वन्य प्राणियों पर नजर रखने के लिए जंगल के अंदर तीन से चार लोहे के वॉच टॉवर पहले से मौजूद हैं, लेकिन पहली बार एक ट्री हाउस का निर्माण किया जा रहा है। यह ट्री हाउस नए मुख्यद्वार के पास बनाया जाएगा। मुरादाबाद के कारीगर इसे तैयार कर रहे हैं, और यह 18 फीट ऊंचाई पर पेड़ के ऊपर स्थित होगा, जिससे वन्य प्राणी विभाग के कर्मचारी दूरबीन से वन्य जीवों पर नजर रख सकेंगे।