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दिल्ली एनसीआर में वायरल फीवर: आयुर्वेदिक उपायों से पाएं राहत

दिल्ली एनसीआर में वायरल फीवर के मामलों में तेजी से वृद्धि हो रही है, जिससे कई लोग परेशान हैं। इस लेख में, हम आपको आयुर्वेदिक उपायों के बारे में जानकारी देंगे, जो बुखार और अन्य लक्षणों से राहत दिलाने में मदद कर सकते हैं। जानें कि कैसे हल्का भोजन, उपवास और अदरक का सेवन आपके स्वास्थ्य को बेहतर बना सकता है।
 

वायरल फीवर का बढ़ता प्रकोप

वर्तमान में, देशभर में वायरल फीवर के मामलों में वृद्धि देखी जा रही है, विशेषकर दिल्ली एनसीआर में। एक हालिया अध्ययन के अनुसार, इस क्षेत्र के 69% परिवारों में किसी न किसी सदस्य को गले में खराश, खांसी, बुखार, थकान, मांसपेशियों में दर्द, नाक बहने और सांस लेने में कठिनाई जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। आमतौर पर, इस फ्लू के लक्षण 6 से 10 दिनों तक बने रहते हैं। कई लोग बुखार के दौरान एंटीबायोटिक्स या पैरासिटामोल का सेवन करते हैं।


आयुर्वेदिक उपायों का महत्व

हालांकि, कई बार इन दवाओं के लंबे कोर्स के बाद भी बुखार के लक्षण पूरी तरह से समाप्त नहीं होते। विशेषज्ञों का सुझाव है कि बुखार के समय आयुर्वेदिक प्रोटोकॉल का पालन करना चाहिए। इससे जल्दी आराम मिल सकता है। इस लेख में, हम आपको कुछ आयुर्वेदिक टिप्स बताएंगे।


बुखार के दौरान अपनाएं ये उपाय

विशेषज्ञों के अनुसार, जैसे ही आपको बुखार या शरीर में कोई दर्द महसूस हो, तुरंत भारी भोजन से परहेज करें। हल्का भोजन करें और चाहें तो उपवास भी कर सकते हैं।


जब तक भूख न लगे, तब तक कुछ भी न खाएं। बुखार के दौरान दूध का सेवन भी नहीं करना चाहिए।


फीवर के समय फलों का सेवन न करें। आमतौर पर लोग ताकत के लिए फल या फलों का जूस लेते हैं, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि इस समय फल खाना उचित नहीं है। इससे पाचन अग्नि कमजोर हो जाती है।


बुखार का मतलब है कि शरीर में असंतुलन या टॉक्सिन्स का जमा होना। ऐसे में उपवास करना सबसे सरल उपाय है।


फीवर के दौरान हल्का सूप पीना फायदेमंद होता है। चावल का सूप या दाल-सब्जी का सूप पचाने में आसान होता है और इससे शरीर को ताकत मिलती है।


जब बुखार हो, तो सूखी अदरक का पाउडर पानी में उबालकर पिएं। इससे शरीर को गर्माहट मिलेगी और खांसी तथा बुखार में राहत मिलेगी। विशेषज्ञों का मानना है कि इन आयुर्वेदिक उपायों का पालन करने से बुखार से राहत मिल सकती है।