नोएडा की पहली महिला डीएम मेधा रूपम का प्रेरणादायक सफर
नोएडा की नई डीएम का परिचय
IAS अधिकारी मेधा रूपम को नोएडा का नया जिलाधिकारी नियुक्त किया गया है, और वह इस पद पर आसीन होने वाली पहली महिला हैं। मेधा ने पहले भी कई महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया है और उन्हें योगी सरकार की पसंदीदा अधिकारियों में से एक माना जाता है। इससे पहले, वह कासगंज की डीएम थीं। आइए जानते हैं कि मेधा रूपम का IAS बनने का सफर कैसा रहा और कैसे एक शूटिंग खिलाड़ी ने प्रशासनिक क्षेत्र में कदम रखा।
परिवार की प्रशासनिक पृष्ठभूमि
मेधा रूपम का जन्म आगरा में हुआ, उनके पिता ज्ञानेश कुमार भी IAS अधिकारी हैं और वर्तमान में भारत के मुख्य चुनाव आयुक्त हैं। मेधा का बचपन प्रशासनिक माहौल में बीता, और उन्होंने अपनी शिक्षा केरल से प्राप्त की। इस दौरान, उनकी रुचि शूटिंग में थी, जिसमें उन्होंने राज्य स्तर पर तीन गोल्ड मेडल जीते।
2014 बैच की IAS अधिकारी
शुरुआत में मेधा ने शूटिंग में करियर बनाने का विचार किया, लेकिन अपने पिता के प्रभाव में आकर उन्होंने सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी शुरू की। 2014 में, उन्होंने IAS अधिकारी बनने में सफलता प्राप्त की और प्रशासनिक सेवा में एक महत्वपूर्ण नाम बन गईं।
पति मनीष बंसल का साथ
IAS बनने के बाद, मेधा ने मसूरी के लाल बहादुर शास्त्री संस्थान में ट्रेनिंग की, जहां उनकी मुलाकात मनीष बंसल से हुई, जो खुद IAS अधिकारी हैं। कुछ समय बाद, दोनों ने परिवार को अपनी शादी के बारे में बताया और ट्रेनिंग पूरी होने के बाद विवाह कर लिया। अब उनके दो बच्चे हैं।
मेधा का प्रशासनिक करियर
मेधा की पहली तैनाती बरेली में सहायक मजिस्ट्रेट के रूप में हुई। इसके बाद, उन्होंने मेरठ और उन्नाव में ज्वाइंट मजिस्ट्रेट के रूप में कार्य किया। उन्नाव के बाद, उन्होंने महिला कल्याण विभाग में विशेष सचिव का पद संभाला और बाराबंकी की मुख्य विकास अधिकारी भी रहीं। हाल ही में, उन्हें नोएडा का डीएम नियुक्त किया गया है।
पति मनीष बंसल की उपलब्धियां
मेधा के पति मनीष बंसल वर्तमान में सहारनपुर के DM हैं। मनीष पंजाब के संगरूर के निवासी हैं और उन्होंने दिल्ली IIT से इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में M.Tech किया है। इसके बाद, उन्होंने सिविल सेवा की तैयारी की और IAS अधिकारी बने।