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पेटदर्द के विभिन्न कारण और उपचार: जानें कैसे करें राहत

पेटदर्द एक आम समस्या है जो विभिन्न कारणों से उत्पन्न हो सकती है। बच्चों, बुजुर्गों और वयस्कों में इसके अलग-अलग कारण होते हैं। इस लेख में, हम पेटदर्द के कारणों, लक्षणों और उपचार के बारे में जानकारी साझा कर रहे हैं। जानें कि कैसे आप घरेलू उपायों से राहत पा सकते हैं और कब डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
 

पेटदर्द के कारण और उनकी पहचान

हेल्थ कार्नर: पेटदर्द कई कारणों से हो सकता है, जैसे अपच, एसिडिटी, बच्चों में कीड़े, किडनी में पथरी, अल्सर, और कभी-कभी अपेंडिक्स। यह समस्या बच्चों, बुजुर्गों और वयस्कों में भिन्न कारणों से उत्पन्न हो सकती है। आइए, इन कारणों पर एक नज़र डालते हैं।



बच्चों में पेटदर्द

बच्चों को दूध न पचने, पेट साफ न होने, संक्रमण या कीड़ों के कारण पेटदर्द हो सकता है। इसके अलावा, जंकफूड और तला-भुना भोजन का अधिक सेवन भी समस्या पैदा कर सकता है।


बुजुर्गों की समस्याएं

बुजुर्गों में कब्ज और यूरिन इंफेक्शन के कारण पेटदर्द हो सकता है। कभी-कभी अधिक तला-भुना खाना भी परेशानी का कारण बनता है।


वयस्कों में पेटदर्द

जो लोग बचपन से कब्ज से परेशान हैं, उन्हें आगे चलकर पेट संबंधी समस्याएं जैसे दर्द, अपच, मरोड़ और एसिडिटी का सामना करना पड़ सकता है।


एहतियात और सुझाव

यदि यूरिन इंफेक्शन की समस्या है, तो दिन में 3-4 लीटर पानी पीना चाहिए और पेशाब को रोककर नहीं रखना चाहिए। तनाव को कम करने का प्रयास करें और बच्चों को घर का बना खाना दें। उपवास के दौरान फलाहार करें, क्योंकि कई बार खाली पेट रहने से भी पेटदर्द हो सकता है।


लक्षणों के अनुसार उपचार

पेट में भारीपन महसूस होने पर पल्सेटिला दवा दी जाती है। खट्टी डकारों के लिए लाइकोपोडियम, खाली पेट एसिडिटी के लिए एनाकार्डियम, और खाने के दुष्प्रभाव से दर्द होने पर नक्सवोमिका का उपयोग किया जाता है।


पेट में कीड़े होने पर सिना और पथरी के दर्द में लाइकोपोडियम, बरबरिफ वल्गेरिस और सारसापरिला दवाएं दी जाती हैं। अपेंडिक्स के लिए इच्निशिया और आइरिश टेनक्स का उपयोग किया जाता है। इन दवाओं का प्रयोग विशेषज्ञ के निर्देशानुसार ही करें।