प्रधानमंत्री मोदी का नवरात्रि पर जीएसटी 2.0 का ऐलान: बचत उत्सव की शुरुआत
प्रधानमंत्री का संबोधन
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नवरात्रि के अवसर पर देशवासियों को संबोधित करते हुए जीएसटी 2.0 के लागू होने की जानकारी दी। उन्होंने इसे 'बचत उत्सव' करार दिया और कहा कि इस सुधार से व्यापक स्तर पर लोगों को लाभ मिलने की उम्मीद है। पीएम मोदी ने बताया कि जब 12 लाख रुपये तक की आयकर छूट मिलती है, तो इससे मध्यम वर्ग के जीवन में महत्वपूर्ण बदलाव आता है, जिससे लोगों के जीवन में सरलता और सुविधा बढ़ती है।
आर्थिक लाभ और नव-मध्यम वर्ग
उन्होंने कहा कि अब गरीब और नव-मध्यम वर्ग को दोहरा लाभ मिल रहा है। जीएसटी में कमी से नागरिकों के लिए अपने सपनों को पूरा करना आसान होगा। पीएम मोदी ने उल्लेख किया कि पिछले ग्यारह वर्षों में 25 करोड़ भारतीय गरीबी से बाहर निकले हैं और अब वे नव-मध्यम वर्ग का निर्माण कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि सरकार के निर्णयों से, जैसे आयकर में छूट और जीएसटी सुधार, देशवासियों को एक ही वर्ष में 2.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक की बचत होगी।
आत्मनिर्भरता की दिशा में कदम
प्रधानमंत्री ने कहा कि हम 'नागरिक देवो भव:' के सिद्धांत का पालन करते हुए आगे बढ़ रहे हैं, और इसके प्रभाव अगले पीढ़ी के जीएसटी सुधारों में देखने को मिल सकते हैं। उन्होंने आत्मनिर्भरता की दिशा में चलने की आवश्यकता पर जोर दिया और कहा कि MSMEs की जिम्मेदारी इस दिशा में महत्वपूर्ण है।
स्वदेशी का महत्व
उन्होंने यह भी कहा कि जो चीजें देश में बनाई जा सकती हैं, उन्हें यहीं बनाना चाहिए। जीएसटी दरों में कमी और प्रक्रियाओं के सरलीकरण से MSMEs, लघु उद्योगों और कुटीर उद्योगों को लाभ होगा। इससे उनकी बिक्री बढ़ेगी और टैक्स में कमी आएगी, जिससे उन्हें दोहरा लाभ मिलेगा। स्वदेशी के सिद्धांत से देश की समृद्धि को भी बल मिलेगा।