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ICICI बैंक का नया नियम: सेविंग्स अकाउंट के लिए बढ़ा मिनिमम बैलेंस

ICICI बैंक ने अपने सेविंग्स अकाउंट के लिए न्यूनतम औसत बैलेंस में भारी वृद्धि की है, जिससे ग्राहकों को अधिक राशि बनाए रखने की आवश्यकता होगी। इस बदलाव के कारण बैंक को सोशल मीडिया पर 'अमीरों का बैंक' कहा जा रहा है। हालांकि, कई सरकारी बैंकों ने न्यूनतम बैलेंस की शर्त को समाप्त कर दिया है, जिससे ग्राहकों को राहत मिली है। जानें कि कौन से बैंक इस नियम का पालन कर रहे हैं और किसने इसे खत्म किया है।
 

ICICI बैंक के नए मिनिमम बैलेंस नियम

न्यूनतम बैंक बैलेंस: ICICI बैंक, जो भारत के प्रमुख प्राइवेट बैंकों में से एक है, ने हाल ही में अपने सेविंग्स अकाउंट्स के लिए न्यूनतम औसत बैलेंस (MAB) की राशि में उल्लेखनीय वृद्धि की है। इस नए नियम के अनुसार, ग्राहकों को अब अपने खातों में पहले से अधिक राशि बनाए रखनी होगी, जिसके कारण सोशल मीडिया पर ICICI बैंक को 'अमीरों का बैंक' कहकर आलोचना का सामना करना पड़ रहा है। हालांकि, न्यूनतम औसत बैलेंस का नियम भारत में नया नहीं है, क्योंकि प्राइवेट और सरकारी दोनों प्रकार के बैंकों ने पहले भी इस नियम का पालन किया है। आइए जानते हैं कि किस बैंक ने इस नियम को समाप्त किया और किसने पेनल्टी चार्ज करना जारी रखा है।


ICICI बैंक के नए एवरेज बैलेंस नियम


ICICI बैंक ने अपने सेविंग्स अकाउंट्स के लिए न्यूनतम औसत बैलेंस की राशि को बढ़ा दिया है। अब, शहरी क्षेत्रों में रहने वाले ग्राहकों को हर महीने औसतन 50,000 रुपये का बैलेंस बनाए रखना होगा, जो पहले केवल 10,000 रुपये था। यह वृद्धि लगभग पांच गुना है। वहीं, सेमी-अर्बन क्षेत्रों में रहने वालों के लिए यह राशि 5,000 रुपये से बढ़ाकर 25,000 रुपये कर दी गई है। ग्रामीण क्षेत्रों में भी यह राशि 5,000 रुपये से बढ़कर 10,000 रुपये हो गई है। यदि ग्राहक इन नई शर्तों को पूरा नहीं करते हैं, तो उन पर पेनल्टी भी लगाई जाएगी.


सरकारी बैंकों के नियम

भारतीय स्टेट बैंक (SBI)


भारतीय स्टेट बैंक ने 5 साल पहले न्यूनतम औसत बैलेंस के नियम को समाप्त कर दिया था। अब SBI के ग्राहक बिना किसी चिंता के अपनी जरूरत के अनुसार खाता में पैसा रख सकते हैं।


केनरा बैंक (Canara Bank)


केनरा बैंक ने जून 2025 से अपने सभी सेविंग्स, सैलरी और NRI अकाउंट्स पर न्यूनतम औसत बैलेंस की शर्त को समाप्त कर दिया है। इससे पहले, इस नियम का पालन न करने पर बैंक भारी पेनल्टी लेता था।


इंडियन बैंक (Indian Bank)


इंडियन बैंक ने 7 जुलाई 2025 से अपनी पॉलिसी में बड़ा बदलाव किया, जिसमें न्यूनतम औसत बैलेंस की शर्त को हटा दिया गया। बैंक ने यह कदम ग्राहकों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए उठाया है।


पंजाब नेशनल बैंक (PNB)


PNB ने भी 1 जुलाई 2025 को न्यूनतम औसत बैलेंस की शर्त को खत्म कर दिया है। अब PNB ग्राहक अपनी आवश्यकता के अनुसार खाते में पैसा रख सकते हैं और उन पर कोई जुर्माना नहीं लगाया जाएगा।


बैंक ऑफ बड़ौदा (Bank of Baroda)


बैंक ऑफ बड़ौदा ने 1 जुलाई 2025 से जीरो बैलेंस अकाउंट की सुविधा शुरू करने की घोषणा की है। अब सामान्य सेविंग अकाउंट्स पर न्यूनतम बैलेंस का नियम लागू नहीं होगा, जबकि प्रीमियम खातों के ग्राहकों को एक निश्चित राशि मेंटेन करनी होगी.


प्राइवेट बैंकों के नियम

HDFC बैंक


HDFC बैंक में शहरी क्षेत्रों में ग्राहकों को 10,000 रुपये का एवरेज मंथली बैलेंस (AMB) बनाए रखना जरूरी है। सेमी-अर्बन शाखाओं के लिए यह रकम 5,000 रुपये है, जबकि ग्रामीण एरिया में 2,500 रुपये की एवरेज मंथली बैलेंस होनी चाहिए। अगर ग्राहक इन शर्तों का पालन नहीं करते, तो बैंक शहरी क्षेत्रों में 600 रुपये और सेमी-शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में 300 रुपये तक की पेनल्टी वसूल करेगा.


एक्सिस बैंक


एक्सिस बैंक में सेमी-अर्बन और ग्रामीण क्षेत्रों के लिए 10,000 रुपये का एवरेज मंथली बैलेंस रखना जरूरी है। यदि ऐसा नहीं किया जाता, तो बैंक उस पर 6% पेनल्टी वसूल करता है, हालांकि अब यह पेनल्टी 600 रुपये तक सीमित कर दी गई है.