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अमेरिका ने ईरान-इजरायल संघर्ष में किया हवाई हमला, तीन परमाणु ठिकानों को बनाया निशाना

अमेरिका ने ईरान के तीन प्रमुख परमाणु ठिकानों पर हवाई हमले की पुष्टि की है। राष्ट्रपति ट्रंप ने इसे एक सफल सैन्य कार्रवाई बताया है। इस हमले में अमेरिका ने अपने अत्याधुनिक B-2 बॉम्बर्स का इस्तेमाल किया। ट्रंप ने इस ऑपरेशन को अमेरिका की सैन्य शक्ति की एक महत्वपूर्ण उपलब्धि करार दिया है। जानें इस हमले के पीछे की वजह और ट्रंप का संबोधन कब होगा।
 

अमेरिका की सैन्य कार्रवाई

नई दिल्ली: ईरान और इजरायल के बीच चल रहे तनाव में अब अमेरिका ने सक्रिय रूप से भाग लिया है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पुष्टि की है कि अमेरिकी वायुसेना ने ईरान के तीन प्रमुख परमाणु स्थलों—फोर्डो, नतांज और इस्फहान—पर हवाई हमले किए हैं।


राष्ट्रपति ट्रंप ने इसे 'एक महत्वपूर्ण और सफल हवाई हमला' बताया। उन्होंने कहा कि अमेरिकी वायुसेना ने पूरी तैयारी के साथ बम गिराए, जिसमें फोर्डो को प्राथमिक लक्ष्य बनाया गया। ट्रंप का दावा है कि यह कार्रवाई अमेरिका की सैन्य शक्ति का एक उदाहरण है और 'ऐसी क्षमता किसी अन्य देश के पास नहीं है।'


ट्रंप के अनुसार, सभी लड़ाकू विमान सुरक्षित रूप से ईरानी हवाई क्षेत्र से बाहर निकल चुके हैं और अपने बेस की ओर लौट रहे हैं। उन्होंने इस ऑपरेशन को अमेरिका की सैन्य शक्ति की 'महत्वपूर्ण उपलब्धि' बताया और शांति की अपील की है।


सूत्रों के अनुसार, इस हमले में अमेरिका ने अपने अत्याधुनिक B-2 बॉम्बर्स का उपयोग किया। इन विमानों ने फोर्डो, नतांज और इस्फहान स्थित परमाणु संयंत्रों को निशाना बनाया। हमले के बाद अमेरिका ने मध्य एशिया में स्थित अपने सभी एयरबेस को उच्च सतर्कता पर रखा है। ट्रंप रात 10 बजे (स्थानीय समय) देश को संबोधित करेंगे, जो भारतीय समयानुसार सुबह 7:30 बजे होगा।


ज्ञात हो कि ईरान के परमाणु कार्यक्रम को लेकर इजरायल की चिंताओं को ध्यान में रखते हुए ट्रंप ने दो सप्ताह पहले सैन्य कार्रवाई का संकेत दिया था। इसी के तहत गुआम स्थित अमेरिकी एयरबेस से B-2 बॉम्बर्स को रवाना किया गया था। माना जा रहा है कि इन्हीं विमानों ने ईरान में कार्रवाई को अंजाम दिया।