चंडीगढ़ में यूआईईटी में एआईसीटीई आइडिया लैब की स्थापना, छात्रों के लिए नवाचार का नया मंच
यूआईईटी में एआईसीटीई आइडिया लैब की स्थापना
चंडीगढ़ के पंजाब विश्वविद्यालय के यूनिवर्सिटी इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी (यूआईईटी) में एआईसीटीई आइडिया लैब का जल्द ही उद्घाटन किया जाएगा। यह लैब छात्रों को नई तकनीकों और उद्योग विशेषज्ञों की मार्गदर्शन प्रदान करेगी।
इसका मुख्य उद्देश्य नवाचार और उद्यमिता को प्रोत्साहित करना है। यहां विज्ञान, तकनीक, इंजीनियरिंग और गणित (STEM) के मूल सिद्धांतों को प्रयोगों के माध्यम से समझाया जाएगा। आइडिया लैब में छात्र व्यावहारिक शिक्षा, अनुसंधान और वास्तविक दुनिया की समस्याओं के समाधान के लिए तैयार होंगे।
यह लैब एक ऐसा वातावरण तैयार करेगी, जहां उद्यमिता के कौशल को बढ़ावा मिलेगा। पीयू की उपकुलपति प्रो. रेनु विग ने कहा कि यह लैब छात्रों को उनके नवोन्मेषी विचारों को वास्तविकता में बदलने और प्रयोग करने का एक मंच प्रदान करेगी।
यह छात्रों को विभिन्न समस्याओं के लिए अनूठे समाधान खोजने के लिए प्रेरित करेगी। यूआईईटी के निदेशक प्रो. संजीव पुरी इस लैब के मुख्य मार्गदर्शक हैं, जबकि इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. गौरव सपरा और मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग के प्रो. राजेश कुमार कोऑर्डिनेटर हैं।
डॉ. गौरव सपरा ने बताया कि इस लैब के लिए उपकरणों और औजारों की खरीदारी शुरू हो चुकी है। इसे जुलाई-अगस्त में स्थापित करने का लक्ष्य है।
पीयू में इसके लिए दो स्थानों पर विचार किया गया है, लेकिन अंतिम स्थान अभी तय होना बाकी है। लैब 3000 वर्ग फीट में स्थापित होगी, जिसमें सम्मेलन कक्ष, कार्यशाला और प्रयोगशाला शामिल होंगे। इस परियोजना पर 90 लाख रुपये खर्च होंगे, जिसमें एआईसीटीई से 30 लाख रुपये और 60 लाख रुपये संस्थान (रूसा 20 फंडिंग), उद्योग, पूर्व छात्रों और अन्य स्रोतों से प्राप्त होंगे।
यह लैब रोबोटिक्स, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, इंटरनेट ऑफ थिंग्स और 3डी प्रिंटिंग जैसे क्षेत्रों में कार्य करने का अवसर प्रदान करेगी। यहां 50 से अधिक उपकरण रखे जाएंगे, और मुख्य ध्यान इलेक्ट्रॉनिक्स और मैकेनिकल के संयोजन पर होगा।
इससे छात्रों और फैकल्टी को नए समाधान खोजने और विकसित करने में मदद मिलेगी। इसके अलावा, यह विचार किया जा रहा है कि पाठ्यक्रम में व्यावहारिक अनुभव के कुछ क्रेडिट जोड़े जाएं ताकि छात्र गंभीरता से काम कर सकें। हालांकि, यह अंतिम रूप से बोर्ड ऑफ स्टडीज में तय होगा।
विभिन्न कार्यक्रमों के तहत यूआईईटी के बाहर के छात्रों को पंजीकरण करने के बाद लैब में पहुंच प्राप्त होगी। लैब में फैकल्टी डेवलपमेंट प्रोग्राम, स्कूल के छात्रों के लिए गतिविधियाँ, ग्रीष्मकालीन प्रशिक्षण और कौशल विकास कार्यशालाएँ आयोजित की जाएंगी।
पिछले साल जून में शुरू हुई थी प्रक्रिया
इस आइडिया लैब के लिए केवल वही संस्थान आवेदन कर सकते हैं, जिनकी एनआईआरएफ रैंकिंग 100 तक हो और जो एआईसीटीई की गाइडलाइंस का पालन करते हों। यूआईईटी ने इसके लिए पिछले साल जून में प्रक्रिया शुरू की थी।
एआईसीटीई ने पिछले साल 40 और इस साल 400 संस्थानों को यह लैब स्थापित करने के लिए चुना है। चंडीगढ़ में केवल यूआईईटी में इसे स्थापित किया जा रहा है। एआईसीटीई ने इसके लिए एक अलग वेबसाइट बनाकर एक डैशबोर्ड तैयार किया है, जिसमें संस्थानों को लैब से संबंधित सभी जानकारी अपलोड करनी होगी। इसी आधार पर संस्थानों को रैंक किया जाएगा।