चांदी की कीमतों में अचानक गिरावट: जानें कारण और विशेषज्ञों की राय
चांदी की कीमतों में भारी गिरावट
नई दिल्ली। आज देश में चांदी की कीमतों में एक घंटे के भीतर काफी गिरावट आई है। MCX पर मार्च के फ्यूचर्स की कीमतें 21,000 रुपये प्रति किलो घटकर 2,33,120 रुपये पर पहुंच गईं। यह गिरावट तब आई जब सुबह की शुरुआत में कीमतें 2,54,174 रुपये के उच्चतम स्तर पर थीं।
अंतरराष्ट्रीय बाजार का प्रभाव
अंतरराष्ट्रीय बाजार का असर
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी चांदी की कीमतों में उतार-चढ़ाव देखा गया। सोमवार को कीमतें पहली बार 80 डॉलर प्रति औंस के पार गईं, लेकिन बाद में लाभ लेने की बिकवाली और अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप तथा यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की के बीच शांति वार्ता की खबरों के चलते 75 डॉलर के स्तर से नीचे आ गईं।
गिरावट के कारण
गिरावट की मुख्य वजह
इस गिरावट का मुख्य कारण निवेशकों द्वारा मुनाफा बुक करना और भू-राजनीतिक तनाव में कमी है। यूक्रेन युद्ध में संभावित शांति समझौते की खबरों से सुरक्षित निवेश की मांग में कमी आई है। इसके अलावा, वर्ष की शुरुआत से चांदी में 181% की अभूतपूर्व वृद्धि भी इस मुनाफावसूली का कारण बनी।
विशेषज्ञों की राय
विशेषज्ञों की राय
विश्लेषकों का मानना है कि चांदी का ट्रेंड अभी भी सकारात्मक है, लेकिन इसमें उतार-चढ़ाव बना रहेगा। रिलायंस सिक्योरिटीज के जिगर त्रिवेदी के अनुसार, 2.4 लाख रुपये प्रति किलो का स्तर छोटी अवधि के लिए समर्थन प्रदान कर सकता है। वहीं, अमेरिकी फर्म BTIG ने चेतावनी दी है कि कीमतों में इतनी तेज वृद्धि स्थायी नहीं हो सकती और इसके बाद गिरावट आ सकती है।
इतिहास से सबक
1979 और 2011 जैसी तबाही की आशंका
ICICI प्रूडेंशियल म्यूचुअल फंड के मनीष बंठिया ने इतिहास के उदाहरण देते हुए कहा कि चांदी में ऐसी शानदार वृद्धि आमतौर पर शांतिपूर्ण तरीके से समाप्त नहीं होती। उन्होंने बताया कि 1979-80 और 2011 में चांदी की कीमतें आसमान छूने के बाद क्रमशः 90% और 75% से अधिक गिर गई थीं। पिछले साल में कीमतें लगभग तीन गुना बढ़ी हैं, इसलिए सतर्क रहना आवश्यक है।