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डोनाल्ड ट्रंप और व्लादिमीर पुतिन के बीच संभावित बैठक पर चर्चा

डोनाल्ड ट्रंप और व्लादिमीर पुतिन के बीच संभावित बैठक की चर्चा हो रही है, जिसमें भारत पर टैरिफ और यूक्रेन के हालात पर विचार किया जाएगा। ट्रंप ने जेलेंस्की को बैठक से बाहर रखने का निर्णय लिया है, जिससे बातचीत की दिशा में नई चुनौतियाँ सामने आ सकती हैं। इस बैठक का महत्व इसलिए भी बढ़ गया है क्योंकि यह अमेरिकी और रूसी नेताओं के बीच पहली आमने-सामने की मुलाकात होगी। क्या यह बैठक शांति की दिशा में कोई ठोस कदम उठाएगी? जानें पूरी जानकारी में।
 

ट्रंप का भारत पर टैरिफ हमला

डोनाल्ड ट्रंप वर्तमान में भारत पर रूसी तेल खरीद को लेकर टैरिफ का दबाव बना रहे हैं। उन्होंने भारत पर 50 प्रतिशत का टैरिफ लागू कर दिया है। ट्रंप ने मानवता के प्रति अपनी चिंता जताते हुए यूक्रेन में हो रही मौतों के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराया है। इस बीच, अमेरिका के राष्ट्रपति ट्रंप और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच पहली बार आमने-सामने की बैठक होने जा रही है, जिस पर पूरी दुनिया की नजरें टिकी हुई हैं। इस बैठक में यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की को शामिल नहीं किया गया है। पहले यह खबर आई थी कि अमेरिका ने यह शर्त रखी थी कि ट्रंप और पुतिन की बैठक से पहले पुतिन को जेलेंस्की से मिलना होगा, लेकिन अब ट्रंप ने इस शर्त को हटा दिया है।


संयुक्त अरब अमीरात में संभावित बैठक

पुतिन ने बैठक के लिए संयुक्त अरब अमीरात को संभावित स्थान के रूप में चुना है, लेकिन अमेरिका की ओर से इसकी पुष्टि अभी तक नहीं हुई है। संयुक्त अरब अमीरात ने संवेदनशील राजनयिक बैठकों के लिए एक तटस्थ स्थल के रूप में अपनी पहचान बनाई है। पुतिन अपनी क्षेत्रीय यात्राओं के दौरान अमीरात के राष्ट्रपति से भी मिलने वाले थे, जिससे इस स्थान की उपयुक्तता और बढ़ गई है। हालांकि, आयोजन स्थल पर सहमति बन गई है, लेकिन आधिकारिक पुष्टि और कार्यक्रम संबंधी विवरण अभी भी लंबित हैं।


बैठक का महत्व

यह बैठक महत्वपूर्ण मानी जा रही है क्योंकि जून 2021 में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन और पुतिन के बीच जेनेवा में मुलाकात हुई थी। इसके बाद यह किसी अमेरिकी और रूसी राष्ट्रपति के बीच पहली आमने-सामने की बातचीत होगी। ट्रंप और पुतिन की आखिरी मुलाकात 2019 में जापान में जी20 सम्मेलन में हुई थी। वहीं, रूस और यूक्रेन के बीच पहले भी तीन बार सीधी वार्ता हो चुकी है, लेकिन वे शांति की दिशा में कोई ठोस परिणाम नहीं दे पाई हैं। रूस ने 2022 में यूक्रेन पर सैन्य हमला शुरू किया था, जिसके परिणामस्वरूप हजारों लोग मारे गए और लाखों लोग बेघर हो गए हैं।


ट्रंप की चिंताएं

ट्रंप ने चिंता व्यक्त की है कि पुतिन अक्सर शांति की बात करते हैं, लेकिन इसके बाद यूक्रेन पर बमबारी शुरू कर देते हैं। उन्होंने कहा कि पुतिन मीठे शब्दों का उपयोग करते हैं और फिर अचानक हमले करते हैं। राष्ट्रपति ट्रंप को शक है कि पुतिन केवल बातचीत में उन्हें उलझाकर समय बर्बाद कर रहे हैं। इसलिए, वे जेलेंस्की को बातचीत में शामिल करना चाहते हैं ताकि कोई ठोस समाधान निकाला जा सके।