तालिबान के विदेश मंत्री आमिर खान मुत्ताकी की भारत यात्रा: एक ऐतिहासिक कदम
भारत में तालिबान के विदेश मंत्री की पहली यात्रा
करीब तीन दशकों के बाद, एक ऐसा व्यक्ति भारत में कदम रखने जा रहा है, जो कभी पाकिस्तान का करीबी सहयोगी था। अब वह पाकिस्तान को नष्ट करने की कसम खा चुका है। पाकिस्तान ने हर संभव प्रयास किया कि यह व्यक्ति भारत न आ सके, लेकिन भारत ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से उसे बुलाने की अनुमति प्राप्त कर ली है। यह पहली बार है जब तालिबान का एक प्रमुख नेता भारत में आ रहा है, और यह तब हो रहा है जब अमेरिका और पाकिस्तान मिलकर अफगानिस्तान पर हमले की योजना बना रहे हैं।
इस समय, जब डोनाल्ड ट्रंप आसिम मुनीर और शहबाज शरीफ को अमेरिका बुला रहे हैं, आमिर खान मुत्ताकी, जो पाकिस्तान का सबसे बड़ा दुश्मन है, भारत में कदम रख रहा है।
मुत्ताकी की भारत यात्रा की जानकारी
आमिर खान मुत्ताकी, जो अफगानिस्तान की तालिबान सरकार के विदेश मंत्री हैं, 9 अक्टूबर को भारत आएंगे। उनकी यात्रा के दौरान, वे विदेश मंत्री एस जयशंकर और एनएसए अजित डोभाल से मुलाकात करेंगे। तालिबान के इस प्रमुख नेता का एनएसए से मिलना पाकिस्तान के लिए चिंता का विषय है। मुत्ताकी 9 से 16 अक्टूबर तक भारत में रहेंगे, जिससे कई महत्वपूर्ण योजनाओं की संभावना है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने बताया कि मुत्ताकी को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से 9-16 अक्टूबर के बीच दिल्ली आने की अनुमति मिली है, लेकिन यात्रा के बारे में और जानकारी नहीं दी गई।
भारत और तालिबान के बीच बढ़ता संपर्क
हालांकि भारत ने तालिबान सरकार को आधिकारिक मान्यता नहीं दी है, लेकिन यह देखना दिलचस्प होगा कि मुत्ताकी को किस प्रकार का प्रोटोकॉल दिया जाएगा। जायसवाल ने बताया कि 'मुत्ताकी अफगानिस्तान के विदेश मंत्री हैं' और उन्होंने मई में एस जयशंकर और मुत्ताकी के बीच हुई टेलीफोन कॉल का उल्लेख किया, जो दोनों देशों के बीच बढ़ते संबंधों को दर्शाता है।
मुत्ताकी पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद द्वारा यात्रा पर प्रतिबंध लगाया गया था, जिसे भारत यात्रा के लिए हटाने में सफल रहा है। यह भारत के लिए तालिबान के साथ संपर्क स्थापित करने का एक महत्वपूर्ण अवसर है।
पाकिस्तान की प्रतिक्रिया
मुत्ताकी को अगस्त में भारत आना था, लेकिन पाकिस्तान ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में उनकी यात्रा के खिलाफ शिकायत की थी, जिसके कारण उन्हें अपनी यात्रा स्थगित करनी पड़ी। अब, भारत ने उसी परिषद से अनुमति प्राप्त कर ली है, जिससे मुत्ताकी की भारत यात्रा संभव हो सकी है।