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नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट: भारत का नया विमानन हब

नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट (NMIAL) का विकास तेजी से आगे बढ़ रहा है, जो जल्द ही भारत का एक प्रमुख विमानन केंद्र बनने जा रहा है। यह एयरपोर्ट अदानी एयरपोर्ट और CIDCO के सहयोग से बनाया जा रहा है और इसकी रणनीतिक स्थिति इसे मुंबई और आसपास के क्षेत्रों के लिए एक महत्वपूर्ण हवाई मार्ग केंद्र बनाएगी। दो समानांतर रनवे और चार टर्मिनल के साथ, यह एयरपोर्ट सालाना 90 मिलियन यात्रियों और 3.2 मिलियन टन कार्गो को संभालने की क्षमता रखेगा। जानें इस एयरपोर्ट के महत्व और विशेषताओं के बारे में।
 

नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट का विकास

नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट (NMIAL), जिसे अदानी एयरपोर्ट और CIDCO के सहयोग से विकसित किया जा रहा है, जल्द ही भारत का एक प्रमुख विमानन केंद्र बनने की दिशा में अग्रसर है। यह एयरपोर्ट उलवे नवी मुंबई में स्थित है और दक्षिण मुंबई से लगभग 37 किलोमीटर की दूरी पर है।



इसकी रणनीतिक स्थिति इसे मुंबई और उसके आस-पास के क्षेत्रों के लिए एक महत्वपूर्ण हवाई मार्ग केंद्र बनाएगी। नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट में दो समानांतर रनवे होंगे, जिनकी लंबाई 37 किमी होगी, जो आधुनिक और बड़े विमानों के संचालन के लिए उपयुक्त हैं। इसके अलावा, एयरपोर्ट में चार टर्मिनल बनाए जाएंगे, जो यात्रियों और कार्गो की सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए डिजाइन किए गए हैं।


इस प्रोजेक्ट की योजना इस प्रकार बनाई गई है कि इसकी अंतिम क्षमता सालाना 90 मिलियन यात्रियों और 3.2 मिलियन टन कार्गो को संभालने की होगी। टर्मिनल का डिज़ाइन कमल के फूल से प्रेरित आर्क पर आधारित है, जो न केवल आकर्षक है, बल्कि पर्यावरण और यात्रियों के अनुभव को भी ध्यान में रखता है।


यह एयरपोर्ट मुंबई के मौजूदा छत्रपति शिवाजी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर दबाव को कम करेगा और महाराष्ट्र को एक वैश्विक विमानन केंद्र के रूप में स्थापित करने में मदद करेगा। इसके साथ ही, यह आर्थिक गतिविधियों और व्यापारिक विकास को भी बढ़ावा देगा।