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पाकिस्तान के सेना प्रमुख की अमेरिका यात्रा और आर्थिक संकट के बीच संपत्ति में वृद्धि

पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर की अमेरिका यात्रा के दौरान भारत के खिलाफ आक्रामक बयानबाजी के साथ-साथ देश की आर्थिक स्थिति पर गंभीर सवाल उठते हैं। सेना की संपत्ति में निरंतर वृद्धि और उनके व्यापारिक साम्राज्य की चर्चा इस लेख में की गई है। जानिए कैसे पाकिस्तान की सेना केवल एक सैन्य बल नहीं, बल्कि एक विशाल व्यापारिक समूह के रूप में कार्य कर रही है।
 

पाकिस्तान के सेना प्रमुख की अमेरिका यात्रा

जनरल असीम मुनीर, जो पाकिस्तान के सेना प्रमुख हैं, वर्तमान में अमेरिका की यात्रा पर हैं। इस दौरान, उन्होंने भारत के खिलाफ कई आक्रामक बयान दिए हैं, जिसमें मिसाइल हमलों की धमकी और परमाणु हमलों का अलर्ट शामिल है। हालांकि, पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति गंभीर संकट में है, फिर भी सेना के उच्च अधिकारियों की संपत्ति में लगातार वृद्धि हो रही है, जो देश की वास्तविक स्थिति पर सवाल उठाती है।


पाकिस्तान की सेना केवल एक सैन्य बल नहीं है, बल्कि यह एक विशाल व्यापारिक समूह के रूप में भी कार्य कर रही है। सेना के नाम पर 100 से अधिक कंपनियाँ संचालित हो रही हैं, जो अरबों रुपये का मुनाफा कमा रही हैं। इस प्रकार, सेना प्रमुख का पद अब केवल एक सैन्य अधिकारी का नहीं, बल्कि एक बड़े व्यापारिक सीईओ के समान हो गया है।


जब पूरी दुनिया पाकिस्तान को आर्थिक संकट में देख रही है, तब सेना के उच्च अधिकारी अपनी संपत्ति में निरंतर वृद्धि कर रहे हैं। जनरल असीम मुनीर उन हाई-प्रोफाइल अधिकारियों में से एक हैं जिनकी संपत्ति लगातार बढ़ रही है।


पाकिस्तान की सेना का प्रभाव केवल हथियारों तक सीमित नहीं है, बल्कि उनकी पकड़ देश की प्रमुख कंपनियों और संस्थाओं पर भी है। फौजी फाउंडेशन, आर्मी वेलफेयर ट्रस्ट, शाही फाउंडेशन और बहरीया फाउंडेशन जैसे बड़े संगठन सेना के नियंत्रण में हैं, जो विभिन्न क्षेत्रों में कारोबार करते हैं, विशेष रूप से रियल एस्टेट में।


इन संस्थाओं के पास इतनी बड़ी संपत्ति और संसाधन हैं कि पाकिस्तान के बड़े उद्योगपति भी इस स्तर पर नहीं पहुँच पाते। इसका मतलब यह है कि जनरल असीम मुनीर का प्रभाव न केवल सेना और राजनीति तक सीमित है, बल्कि यह आर्थिक रूप से भी बेहद शक्तिशाली है।


पाकिस्तान की सेना का सबसे बड़ा कारोबार रियल एस्टेट में है। DHA (Defense Housing Authority) पाकिस्तान की सबसे प्रसिद्ध और मुनाफे वाली रियल एस्टेट कंपनी है, जिसका मूल्य अरबों डॉलर है। सेना बड़े शहरों जैसे कराची, लाहौर और इस्लामाबाद में भूमि खरीदती है और उसे लाभकारी हाउसिंग प्रोजेक्ट में बदल देती है।


लेखिका आयशा सिद्दिका ने अपनी किताब "मिलिट्री इंक" में बताया है कि सेना का व्यापार बैंकिंग, सीमेंट, डेयरी, परिवहन और विशेष रूप से रियल एस्टेट तक फैला हुआ है। इन सभी व्यापारों का कुल मूल्य अनुमानित रूप से 40 से 100 अरब डॉलर के बीच है।


राष्ट्रीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, जनरल असीम मुनीर की कुल संपत्ति लगभग 8 लाख डॉलर (लगभग 7 करोड़ रुपये) मानी जाती है। पाकिस्तान की वर्तमान आर्थिक स्थिति को देखते हुए यह राशि काफी बड़ी है। यह स्पष्ट रूप से दर्शाता है कि सेना प्रमुख का पद केवल सेना को संभालने तक सीमित नहीं है, बल्कि यह एक बड़ा व्यापारी बनकर संपत्ति और शक्ति हासिल करने का एक साधन भी बन चुका है।