×

प्रधानमंत्री मोदी का 'मन की बात': आपातकाल पर कांग्रेस पर कड़ा प्रहार

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' में 1975 के आपातकाल पर कांग्रेस पार्टी पर तीखा हमला किया। उन्होंने इसे लोकतंत्र के लिए एक काला अध्याय बताते हुए युवाओं को लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा के लिए सजग रहने का संदेश दिया। पीएम ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और बाबू जगजीवन राम के योगदान को याद करते हुए उनके संघर्ष को प्रेरणादायक बताया। इस अवसर पर उन्होंने आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ पर इसके ऐतिहासिक महत्व पर भी विचार किया।
 

मन की बात 2025: आपातकाल का काला अध्याय

Mann Ki Baat 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने रेडियो शो 'मन की बात' में 1975 के आपातकाल पर कांग्रेस पार्टी को तीखे शब्दों में निशाना बनाया। उन्होंने इसे लोकतंत्र के लिए एक काला अध्याय बताते हुए कहा कि यह वह समय था जब देश की स्वतंत्रता और संविधान को कुचलने का प्रयास किया गया। पीएम ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और बाबू जगजीवन राम का उल्लेख करते हुए उनके योगदान को याद किया और आपातकाल के खिलाफ उनके संघर्ष को प्रेरणादायक बताया। पीएम मोदी ने उस समय की चुनौतियों और लोकतंत्र की रक्षा के लिए किए गए बलिदानों का जिक्र करते हुए कहा कि आज का युवा उस समय की पीड़ा को समझे और लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा के लिए सजग रहे। 'मन की बात' के इस संस्करण में पीएम ने आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ के अवसर पर इसके ऐतिहासिक महत्व और उससे मिलने वाली सीख पर विचार किया।


लोकतंत्र पर एक दाग

प्रधानमंत्री ने कहा कि 1975 में आपातकाल लागू किया गया था, जिसने भारत के लोकतांत्रिक इतिहास में एक काला अध्याय जोड़ा। उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा, "यह वह समय था जब लोकतंत्र को बेड़ियों में जकड़ने की कोशिश की गई। स्वतंत्रता, अभिव्यक्ति और संविधान के मूल्यों को कुचलने का प्रयास हुआ।" इस दौर में कई नेताओं और कार्यकर्ताओं ने जेलों में दुख सहे, लेकिन लोकतंत्र की रक्षा के लिए उनका हौसला नहीं डगमगाया।


वाजपेयी और जगजीवन राम का साहस

मोदी ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और बाबू जगजीवन राम का विशेष उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि इन नेताओं ने आपातकाल के दौरान लोकतंत्र की रक्षा के लिए अथक संघर्ष किया। "वाजपेयी जी की लेखनी और जगजीवन राम जी का साहस उस समय के लिए प्रेरणा का स्रोत था। इनके प्रयासों ने देशवासियों को एकजुट कर लोकतंत्र को पुनर्जनन दिया," पीएम ने इन नेताओं के योगदान को युवा पीढ़ी के लिए एक सबक बताया।


युवाओं के लिए प्रेरणा

प्रधानमंत्री ने युवाओं से अपील की कि वे आपातकाल के इतिहास को पढ़ें और समझें कि कैसे देश ने उस अंधेरे दौर से उबरकर लोकतंत्र को मजबूत किया। उन्होंने कहा, "हमें अपने लोकतांत्रिक मूल्यों को संजोकर रखना है। आपातकाल हमें सिखाता है कि स्वतंत्रता और अधिकार कितने मूल्यवान हैं।" पीएम ने इस अवसर पर देशवासियों से संविधान के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभाने का भी आह्वान किया।