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मुख्यमंत्री फडणवीस ने शिवसेना विधायक के हमले की निंदा की

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शिवसेना विधायक संजय गायकवाड़ द्वारा कैंटीन कर्मचारी पर किए गए हमले की कड़ी निंदा की है। उन्होंने इसे 'अस्वीकार्य' बताते हुए कहा कि ऐसा व्यवहार किसी के लिए भी सम्मानजनक नहीं है। गायकवाड़ ने खराब भोजन की शिकायत को लेकर यह कदम उठाया, जिससे विधायकों की छवि पर असर पड़ा है। मुख्यमंत्री ने भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया है। जानें इस मामले की पूरी जानकारी।
 

मुख्यमंत्री का कड़ा रुख

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शिवसेना विधायक संजय गायकवाड़ द्वारा कैंटीन के एक कर्मचारी पर किए गए हमले के वायरल वीडियो पर सख्त प्रतिक्रिया दी है। खराब भोजन की शिकायत के चलते हुए इस हमले को उन्होंने 'अस्वीकार्य' बताया और कहा कि ऐसा व्यवहार किसी के लिए भी सम्मानजनक नहीं हो सकता।


विधायकों की छवि पर असर

फडणवीस ने कहा, 'इस तरह का व्यवहार गलत संदेश भेजता है। यह न केवल अस्वीकार्य है, बल्कि सभी विधायकों की प्रतिष्ठा को भी नुकसान पहुंचाता है।' यह टिप्पणी शिवसेना (यूबीटी) विधायक अनिल परब द्वारा विधानसभा में इस मुद्दे को उठाने के बाद आई, जिसमें उन्होंने सत्तारूढ़ दल पर सत्ता के दुरुपयोग का आरोप लगाया।


शिकायत का सही तरीका

मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि कैंटीन के भोजन की गुणवत्ता में कोई समस्या है, तो लोग औपचारिक शिकायत कर सकते हैं और उचित कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा, 'जनप्रतिनिधियों द्वारा हिंसा का संदेश गलत है। यह गंभीर मामला है। आप (परिषद अध्यक्ष राम शिंदे) और स्पीकर (राहुल नार्वेकर) इस पर ध्यान दें और उचित कार्रवाई करें।'


वायरल वीडियो की घटना

बुलढाणा से दो बार के विधायक संजय गायकवाड़ वायरल वीडियो में गुस्से में नजर आए। उन्होंने आरोप लगाया कि कैंटीन में परोसी गई दाल खराब थी, जिससे उनकी तबीयत बिगड़ गई। गायकवाड़ ने पत्रकारों से कहा कि उन्हें अपने कृत्य पर कोई पछतावा नहीं है और बाल ठाकरे का हवाला देते हुए कहा, 'जो अज्ञानी हैं, उन्हें सबक सिखाना जरूरी है।' उन्होंने यह भी कहा कि कैंटीन में पहले भी भोजन में छिपकली, चूहे और रस्सी जैसी चीजें मिली थीं, लेकिन संचालकों ने सुधार के लिए कोई कदम नहीं उठाया।


भविष्य में कार्रवाई का आश्वासन

यह घटना न केवल विधायकों की जवाबदेही पर सवाल उठाती है, बल्कि जनप्रतिनिधियों के व्यवहार पर भी प्रकाश डालती है। मुख्यमंत्री ने इस मामले में कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया है, जिससे भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोका जा सके।