म्यांमार में 3.5 तीव्रता का भूकंप, विशेषज्ञों ने जताई चिंता
म्यांमार में भूकंप का झटका
म्यांमार में भूकंप: मंगलवार को म्यांमार में 3.5 की तीव्रता का भूकंप आया। नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी (NCS) के अनुसार, यह भूकंप 25 किलोमीटर की गहराई पर महसूस किया गया। भूकंप का केंद्र म्यांमार के 22.62 अक्षांश और 96.17 देशांतर पर था। विशेषज्ञों का मानना है कि उथले भूकंप अधिक खतरनाक होते हैं क्योंकि इनमें उत्पन्न भूकंपीय तरंगें कम दूरी तय करके सतह पर पहुंचती हैं, जिससे अधिक झटके महसूस होते हैं।
इससे भवनों को नुकसान और जनहानि की संभावना बढ़ जाती है। हालांकि, इस भूकंप से संबंधित अभी तक किसी भी प्रकार के नुकसान या हताहत की सूचना नहीं मिली है। भूवैज्ञानिकों का मानना है कि म्यांमार में भविष्य में मध्यम और बड़े भूकंप आ सकते हैं। यहां की लंबी समुद्री तटरेखा सुनामी के खतरे को भी बढ़ाती है, इसलिए आपदा प्रबंधन तंत्र को हमेशा सतर्क रहना चाहिए।
भूकंप के बाद की स्थिति
म्यांमार में भूकंप के झटके
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने प्रभावित क्षेत्रों में तपेदिक (टीबी), एचआईवी और जल जनित बीमारियों के फैलने का खतरा बताया है। एनसीएस ने एक्स (पूर्व ट्विटर) पर एक पोस्ट में कहा कि भूकंप भारतीय समयानुसार सुबह 03:03 बजे आया।
भूकंपों की आवृत्ति
एक मीडिया चैनल के अनुसार, इससे पहले 22 अगस्त 2025 को म्यांमार में 4.9 तीव्रता का भूकंप आया था, जिसमें झटके 65 किलोमीटर की गहराई पर दर्ज किए गए थे। इसी वर्ष 28 मार्च को मध्य म्यांमार में आए 7.7 और 6.4 तीव्रता के भूकंप ने व्यापक तबाही मचाई थी।
भूकंपों का कारण
भूकंपों की आवृत्ति के कारण
भूवैज्ञानिकों के अनुसार, म्यांमार भूकंप-प्रवण क्षेत्र है क्योंकि यह चार टेक्टोनिक प्लेटों - भारतीय, यूरेशियन, सुंडा और बर्मा प्लेट के बीच स्थित है। यहां सक्रिय फॉल्ट लाइनें जैसे सागाइंग फ़ॉल्ट मौजूद हैं, जो मांडले, सागाइंग, बागो और यांगून जैसे घनी आबादी वाले क्षेत्रों को अधिक जोखिम में डालते हैं। इतिहास में, 1903 में बागो में आए 7.0 तीव्रता के भूकंप ने यांगून को भी प्रभावित किया था।