हिमाचल प्रदेश में मानसून का कहर: कुल्लू में बादल फटने से भारी नुकसान
कुल्लू में बादल फटने की घटनाएं
शिमला/ऊषा शर्मा: हिमाचल प्रदेश में मानसून ने दस्तक देते ही अपना विकराल रूप दिखाना शुरू कर दिया है। कुल्लू जिले में बुधवार को बादल फटने की कई घटनाएं सामने आई हैं, जिससे भारी नुकसान हुआ है। प्रदेश के पांच जिलों में फ्लैश फ्लड का येलो अलर्ट जारी किया गया है। कुल्लू जिले के सैंज घाटी, गड़सा, बंजार और मणिकर्ण के ब्रह्मगंगा नाले में बादल फटने की घटनाएं हुई हैं। सैंज के जीवनाला, गड़सा घाटी के शिलागढ़, मनाली के स्रो गैलरी और बंजार के होरनगढ़ क्षेत्रों में दोपहर बाद अचानक बारिश का जोर बढ़ा और बादल फटने से नदियों-नालों में बाढ़ आ गई। इससे कई वाहन बह गए और दर्जनों स्थानों पर सडक़ें व पुल क्षतिग्रस्त हो गए।
प्रशासन की प्रतिक्रिया
अतिरिक्त उपायुक्त कुल्लू, अश्वनी कुमार ने बताया कि कुल्लू में तीन स्थानों पर बादल फटने की पुष्टि हुई है। इनमें सैंज का जीवा नाला, गड़सा की शिलागढ़ घाटी और मनाली के स्रो गैलरी क्षेत्र शामिल हैं। सैंज घाटी के मझान नाले में अचानक जलस्तर बढ़ गया। गड़सा घाटी में हुरला, पचा और मनिहार नालों में भारी जलप्रवाह दर्ज किया गया है। बंजार के होरनगढ़ क्षेत्र में बंजार-बठाहर सडक़ पर बना एक छोटा पुल और एक वाहन बाढ़ में बह गया। होरनगढ़ पटवार सर्कल के चेहणी गांव में एक गोशाला पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हुई है और सरकारी प्राथमिक विद्यालय में पानी व मलबा घुस गया है। वहीं सैंज बाजार रोड को नुकसान पहुंचा है और एक जीप बह गई है। सियूंड मार्ग और एक अस्थायी दुकान को भी क्षति पहुंची है। सबसे गंभीर नुकसान रैला बिहाल क्षेत्र में देखने को मिला, जहां बादल फटने से चार मकान क्षतिग्रस्त हो गए और तीन लोगों के बह जाने की खबर है। बताया जा रहा है कि ये लोग बाढ़ के दौरान अपना सामान निकाल रहे थे, तभी हादसे का शिकार हो गए। प्रशासन द्वारा राहत और बचाव कार्य युद्धस्तर पर जारी है। अतिरिक्त उपायुक्त ने बताया कि जिला प्रशासन पूरी तरह से सतर्क है और सभी प्रभावित क्षेत्रों में त्वरित सहायता पहुंचाई जा रही है। एनडीआरएफ की टीम पहले से ही जिले में तैनात है ताकि किसी भी आपात स्थिति में तत्काल कार्रवाई की जा सके।
अन्य प्रभावित क्षेत्र
इधर, लाहौल-स्पीति जिले में भारी बारिश के चलते काजा से सुमदो तक कई स्थानों पर मार्ग अवरुद्ध हो गया है। प्रशासन ने पर्यटकों और स्थानीय लोगों से अनावश्यक यात्रा न करने की अपील की है। राजधानी शिमला में भी बुधवार को रुक-रुक कर बारिश होती रही। मौसम विभाग ने प्रदेश के पांच जिलों शिमला, चंबा, कांगड़ा, मंडी और सिरमौर में अगले 24 घंटों के लिए फ्लैश फ्लड का येलो अलर्ट जारी किया है। विभाग ने एक जुलाई तक भारी वर्षा की चेतावनी दी है। मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के अनुसार अगले कुछ दिनों तक प्रदेश में मॉनसून सक्रिय बना रहेगा और कई स्थानों पर भारी से अति भारी वर्षा हो सकती है। इसके चलते नदी-नालों के जलस्तर में तेजी से वृद्धि की संभावना है। प्रशासन ने आम जनता और पर्यटकों से अपील की है कि वे नदी-नालों के पास न जाएं और सुरक्षित स्थानों पर ही रहें। विशेषकर पहाड़ी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को सतर्क रहने और मौसम विभाग की चेतावनियों का पालन करने की सलाह दी गई है।
धर्मशाला में भी बाढ़ का खतरा
इसी प्रकार धर्मशाला में बुधवार को तेज बारिश हुई। खनियारा इलाके के सोकणी दा कोट में इंदिरा प्रियदर्शनी हाइड्रल प्रोजेक्ट में काम करने वाले 15-20 मजदूर मनुणी खड्ड (नदी) में बह गए। अबतक दो मजदूरों के शव मिले हैं। अन्य की तलाश जारी है। मनुणी नदी आम दिनों में सूखी ही रहती है, लेकिन तेज बारिश के कारण नदी में अचानक से बाढ़ आ गई।