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हिमाचल प्रदेश में मानसून का कहर: बाढ़ और भूस्खलन से भारी तबाही

हिमाचल प्रदेश में मानसून ने व्यापक तबाही मचाई है, जिसमें बाढ़ और भूस्खलन की घटनाएं शामिल हैं। राज्य में 112 लोगों की जान जा चुकी है और 37 लोग लापता हैं। मंडी और कुल्लू जैसे जिले सबसे अधिक प्रभावित हुए हैं। मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में और बारिश की चेतावनी दी है, जिससे राहत कार्यों में कठिनाइयां आ रही हैं। जानें इस संकट के बारे में और क्या हो रहा है राज्य में।
 

हिमाचल प्रदेश में मानसून की तबाही

Himachal Pradesh Monsoon: हिमाचल प्रदेश में मानसून ने व्यापक तबाही मचाई है। हाल के दिनों में लगातार बारिश के कारण कई स्थानों पर बादल फटने, बाढ़ और भूस्खलन की घटनाएं सामने आई हैं। राज्य में सैकड़ों सड़कें बंद हो चुकी हैं, जिससे परिवहन व्यवस्था पूरी तरह से प्रभावित हो गई है। मंडी और कुल्लू जैसे जिले इस आपदा से सबसे अधिक प्रभावित हुए हैं, जहां भारी नुकसान हुआ है। अधिकारियों के अनुसार, इस मानसून सीजन में अब तक 112 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं और 37 लोग लापता हैं। मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में और भी भारी बारिश की चेतावनी दी है, जिससे राहत कार्यों में कठिनाइयां आ रही हैं और लोगों की जान-माल की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ गई है।


सड़कें बंद, परिवहन में बाधा

मानसून के कहर से हिमाचल प्रदेश में 362 सड़कें वाहनों के लिए बंद हो चुकी हैं। यह संकट विशेष रूप से मंडी जिले में है, जहां भूस्खलन और बारिश के कारण 220 सड़कें बंद हो गई हैं। कुल्लू जिले में भी 91 सड़कें बंद हैं। इस स्थिति के कारण लोगों को यात्रा करने में भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है, और राज्यभर में यातायात ठप हो गया है।


मौसम विभाग की चेतावनी

भारत मौसम विभाग (IMD) ने शिमला में रविवार के लिए येलो अलर्ट जारी किया है, जिसमें बारिश, गरज के साथ बारिश और बिजली गिरने की संभावना जताई गई है। इसमें दो से चार जिलों में भारी से बहुत भारी बारिश का अनुमान है। शनिवार को राज्य के कई हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश दर्ज की गई, जबकि कुछ इलाकों में तेज हवाएं भी चलीं।


अब तक लोगों की मौत और लापता लोग

हिमाचल प्रदेश में इस मानसून सीजन के दौरान अब तक बारिश से जुड़ी घटनाओं में 112 लोगों की जान जा चुकी है, जबकि 37 लोग अभी भी लापता हैं। रिपोर्ट के अनुसार, मानसून के दौरान 58 बार अचानक बाढ़, 30 बार बादल फटने और 53 बड़े भूस्खलन की घटनाएं हुई हैं। इस आपदा से राज्य के सार्वजनिक बुनियादी ढांचे को भी गंभीर नुकसान पहुंचा है, जिसमें 704 बिजली ट्रांसफार्मर और 178 जल आपूर्ति प्रणालियां प्रभावित हुई हैं।


अब तक राज्य में नुकसान

हिमाचल प्रदेश में मानसून के आगमन से अब तक राज्य को 1,988 करोड़ रुपये का वित्तीय नुकसान हुआ है। 20 जून से मानसून के शुरू होने के बाद से राज्य भर में लगातार बारिश और प्राकृतिक आपदाओं के कारण बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है। मौसम विभाग के अनुसार, इस सीजन में राज्य में औसत से 13 प्रतिशत अधिक बारिश हुई है। 1 जून से 9 अगस्त तक राज्य में 503 मिमी बारिश हो चुकी है, जो सामान्य 445.7 मिमी से काफी अधिक है।