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अफगानिस्तान में भूकंपों का कहर: जानें स्थिति और भारत की मदद

अफगानिस्तान में भूकंपों की एक श्रृंखला ने देश को संकट में डाल दिया है। हाल ही में आए भूकंपों ने हजारों लोगों को प्रभावित किया है, जिससे राहत कार्य में बाधाएँ आ रही हैं। भारत ने मानवीय सहायता भेजी है, लेकिन प्रभावित क्षेत्रों में स्थिति गंभीर बनी हुई है। जानें इस संकट की पूरी कहानी और राहत प्रयासों के बारे में।
 

अफगानिस्तान में भूकंपों का संकट

Earthquake in Afghanistan: अफगानिस्तान इस समय भूकंपों की एक श्रृंखला का सामना कर रहा है। शुक्रवार को स्थानीय समयानुसार सुबह लगभग 6 बजे पूर्वी अफगानिस्तान में एक और तेज़ झटका महसूस किया गया। अमेरिकी भूगर्भ सर्वेक्षण (USGS) के अनुसार, इस भूकंप की तीव्रता 4.8 थी और इसका केंद्र जलालाबाद से लगभग 41 किलोमीटर उत्तर-पूर्व में स्थित था। झटके आते ही लोग घबराकर अपने घरों से बाहर निकल आए। हालांकि, अभी तक किसी बड़े नुकसान की सूचना नहीं है, लेकिन भय का माहौल बना हुआ है।


सात दिनों में चार बड़े भूकंप

पिछले एक सप्ताह में अफगानिस्तान ने चार बड़े भूकंप झेले हैं। इनमें से सबसे विनाशकारी झटका 31 अगस्त की रात आया, जिसकी तीव्रता 6.2 थी। इस भूकंप ने जलालाबाद और उसके आस-पास के क्षेत्रों को बुरी तरह प्रभावित किया। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, इस आपदा में 2200 से अधिक लोगों की जान गई है और लगभग 3600 लोग घायल हुए हैं। राहत एजेंसियों का कहना है कि कुल 84,000 से ज्यादा लोग प्रभावित हुए हैं, जबकि हजारों लोग अपने घर छोड़ने के लिए मजबूर हुए हैं।


कुनर और नंगरहार प्रांतों पर असर

कुनर और नंगरहार प्रांतों पर इस आपदा का सबसे अधिक असर पड़ा है। यहां कई गांव पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं। रिपोर्टों के अनुसार, 6700 से अधिक घर ढह चुके हैं और लोग खुले में शरण लेने को मजबूर हैं। अस्पतालों में घायलों की संख्या बढ़ती जा रही है और भूस्खलन के कारण राहत सामग्री पहुंचाने में कठिनाइयाँ आ रही हैं।


घायलों की सहायता

भूकंप का यह सिलसिला 2 और 4 सितंबर को भी जारी रहा, जब क्रमशः 5.5 और 6.2 तीव्रता के झटके महसूस किए गए। बार-बार आ रही इस प्राकृतिक आपदा ने राहत कार्यों को भी प्रभावित किया है। तालिबान प्रशासन, स्थानीय एनजीओ और अंतरराष्ट्रीय एजेंसियां बचाव कार्य में जुटी हैं। कई क्षेत्रों में सेना और हेलीकॉप्टरों की मदद से घायलों को सुरक्षित स्थानों पर पहुँचाया जा रहा है।


भारत की मानवीय सहायता

इस बीच, भारत ने अफगानिस्तान की मदद के लिए हाथ बढ़ाया है। नई दिल्ली ने लगभग 21 टन राहत सामग्री भेजी है, जिसमें दवाएं, स्वच्छता किट, पानी के टैंक, जेनरेटर और अन्य चिकित्सा सामग्री शामिल हैं। यह सहायता काबुल पहुंचाई जा चुकी है और जरूरतमंद लोगों में वितरित की जा रही है।


भविष्य की चुनौतियाँ

लगातार आ रहे भूकंपों से यह स्पष्ट है कि अफगानिस्तान को इस आपदा से लंबे समय तक जूझना पड़ेगा। प्रभावित लोगों को सुरक्षित आश्रय, भोजन और चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराना फिलहाल सबसे बड़ी चुनौती है।