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उत्तर प्रदेश में विद्युत कर्मचारियों की हड़ताल से अलग रहने का निर्णय

उत्तर प्रदेश में विद्युत संविदा कर्मचारियों की एक बैठक में 9 जुलाई 2025 को प्रस्तावित राष्ट्रव्यापी हड़ताल से अलग रहने का निर्णय लिया गया। बैठक में विभिन्न संगठनों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया और निजीकरण के खिलाफ अनिश्चितकालीन कार्य बहिष्कार की चेतावनी दी। वरिष्ठ नेता आर एस राय को आंदोलन के संचालन का अधिकार दिया गया। इस निर्णय ने कर्मचारियों के बीच एक नई दिशा तय की है।
 

विद्युत संविदा कर्मचारियों की बैठक में महत्वपूर्ण निर्णय

लखनऊ। विद्युत संविदा कर्मचारी महासंघ उप्र के विभिन्न संगठनों की एक महत्वपूर्ण बैठक हाल ही में हमबरा अपार्टमेंट, नरही लखनऊ में आयोजित की गई। इस बैठक में 9 जुलाई 2025 को प्रस्तावित राष्ट्रव्यापी हड़ताल से अलग रहने का निर्णय लिया गया। बैठक में विद्युत संविदा मज़दूर संगठन उप्र, विद्युत संविदा कर्मचारी संघ उप्र, केस्को संविदा कर्मचारी संगठन, निविदा/संविदा सेवा समिति, विद्युत निविदा/संविदा कर्मचारी सेवा संघ और दैनिक वेतन विद्युत कर्मचारी संघ के प्रतिनिधियों ने भाग लिया।

बैठक में नवल किशोर सक्सेना, मुदस्सिर चौहान, राजेश्वर सिंह, संजय सिंह, अजय कुमार, विपिन कुमार, दयाशंकर, विष्णु सिंह, सत्येंद्र यादव, आनंद सिंह, प्रमोद कुमार, मोहम्मद हसन, प्रियांशु सिंह, संतोष तिवारी, जगदीश मौर्य, अशोक यादव, दुर्गेश कुमार, अश्वनी, प्रभुनाथ सिंह, मुनीश पाल जैसे प्रमुख लोग उपस्थित थे। महासंघ के मीडिया प्रभारी विमल चंद्र पांडे ने बताया कि बैठक में सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया गया कि पूर्वांचल एवं दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के निजीकरण की प्रक्रिया शुरू होते ही महासंघ के घटक संगठनों द्वारा अनिश्चितकालीन कार्य बहिष्कार प्रारंभ किया जाएगा।

प्रान्तीय प्रभारी पुनीत राय ने बताया कि वरिष्ठ मज़दूर नेता एवं महासंघ के प्रान्तीय अध्यक्ष आर एस राय को आंदोलन पर निर्णय लेने और संचालन का अधिकार सर्वसम्मति से सौंपा गया।