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उत्तराखंड में अवैध धर्मांतरण पर सख्त कानून लागू

उत्तराखंड सरकार ने अवैध धर्मांतरण के खिलाफ एक नया कानून लागू किया है, जिसमें सख्त प्रावधान और सजा का प्रावधान है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में इस विधेयक को मंजूरी दी गई। जानें इस कानून में क्या-क्या शामिल है और इसके तहत पीड़ितों को कैसे सुरक्षा मिलेगी।
 

उत्तराखंड में धर्मांतरण पर नया कानून

उत्तराखंड समाचार: उत्तराखंड सरकार ने अवैध धर्मांतरण के खिलाफ कड़ा कदम उठाया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट बैठक में 'उत्तराखंड धर्म की स्वतंत्रता (संशोधन) विधेयक' को स्वीकृति दी गई। इस नए कानून में पहले से अधिक कठोर प्रावधान जोड़े गए हैं, जिनमें डिजिटल मीडिया के माध्यम से धर्मांतरण का प्रचार करने पर रोक, पीड़ितों को सुरक्षा और मुआवजा, तथा कड़ी सजा शामिल हैं।


इस विधेयक के अनुसार, यदि कोई व्यक्ति झूठी पहचान से विवाह करता है या सोशल मीडिया, मैसेजिंग ऐप्स या अन्य ऑनलाइन माध्यमों से धर्म परिवर्तन के लिए प्रेरित करता है, तो इसे अपराध माना जाएगा। इसके अलावा, प्रलोभन की परिभाषा को भी विस्तारित किया गया है। अब इसमें उपहार, नकद, सामान, नौकरी, मुफ्त शिक्षा, विवाह का वादा, धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाना या दूसरे धर्म की महिमा गाना सभी अपराध की श्रेणी में आएंगे।


सजा का प्रावधान

जेल की सजा


डिजिटल प्लेटफॉर्म के माध्यम से धर्म परिवर्तन का प्रचार अब पूरी तरह से प्रतिबंधित है और इसके लिए जेल की सजा का प्रावधान किया गया है।


  • सामान्य मामलों में 3 से 10 साल की सजा
  • संवेदनशील वर्ग से जुड़े मामलों में 5 से 14 साल की सजा
  • गंभीर मामलों में 20 साल से लेकर आजीवन कारावास तक की सजा
  • इसके अलावा भारी जुर्माने का भी प्रावधान है।


बिल में सुरक्षा के उपाय

बिल में किस चीज का रखा गया है ध्यान


इस विधेयक में पीड़ितों की सुरक्षा, पुनर्वास, चिकित्सा, यात्रा और गुजारे के खर्च का ध्यान रखा गया है। राज्य सरकार का कहना है कि इस कानून से नागरिकों के धार्मिक अधिकार सुरक्षित रहेंगे, धोखे, प्रलोभन या दबाव से होने वाले धर्मांतरण पर रोक लगेगी और समाज में साम्प्रदायिक सौहार्द बना रहेगा।


इसके अलावा, बुधवार को मुख्यमंत्री धामी ने देहरादून नगर निगम क्षेत्र में केदारपुरम में योगा पार्क और कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी किया। उन्होंने AI चैटबॉट 'निगम सारथी' का शुभारंभ किया और ग्रीन पॉलिसी दस्तावेज का विमोचन किया। मुख्यमंत्री ने 'एक पेड़ मां के नाम' अभियान के तहत रुद्राक्ष का पौधा लगाया, जो इस साल नगर निगम क्षेत्र में लगाया गया एक लाखवां पौधा था। कार्यक्रम में उन्होंने स्वच्छता सम्मान सेनानियों और टैक्स इंस्पेक्टर्स को सम्मानित किया और सामूहिक नशा मुक्ति की शपथ भी दिलाई।