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एअर इंडिया की फ्लाइट में तकनीकी समस्या: यात्रियों की सुरक्षा पर सवाल

एअर इंडिया की फ्लाइट AI357 में तकनीकी खराबी के कारण कोलकाता एयरपोर्ट पर आपात लैंडिंग करनी पड़ी। यात्रियों की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ गई है, खासकर हाल के विमान हादसों के संदर्भ में। एअर इंडिया ने यात्रियों को सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान करने का आश्वासन दिया है। ICAO ने भी जांच में शामिल होने की इच्छा जताई है, जिससे विमानन सुरक्षा के मानकों पर सवाल उठ रहे हैं।
 

एअर इंडिया की फ्लाइट में तकनीकी खराबी

एअर इंडिया की एक अंतरराष्ट्रीय उड़ान में तकनीकी समस्या का सामना करना पड़ा है। टोक्यो के हानेदा एयरपोर्ट से दिल्ली के लिए उड़ान भरने वाली फ्लाइट AI357 को बीच में कोलकाता एयरपोर्ट की ओर मोड़ना पड़ा। इसका कारण केबिन में तापमान का असामान्य रूप से बढ़ना था, जिससे यात्रियों में चिंता उत्पन्न हुई। विमान को सुरक्षित रूप से कोलकाता एयरपोर्ट पर उतारा गया, जहां यात्रियों की देखभाल की जा रही है। एअर इंडिया के विमानों में लगातार तकनीकी खामियों और आपात लैंडिंग की घटनाओं ने यात्रियों के बीच विमानन सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ा दी है.


एअर इंडिया का आधिकारिक बयान

एअर इंडिया ने एक बयान में कहा कि AI357 ने हानेदा (टोक्यो) से दिल्ली के लिए उड़ान भरी थी, लेकिन केबिन में अत्यधिक गर्मी की समस्या के कारण इसे कोलकाता की ओर डायवर्ट किया गया। बयान में यह भी बताया गया कि यात्रियों को कोलकाता में सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं और उन्हें जल्द ही वैकल्पिक विमान से दिल्ली भेजने की व्यवस्था की जा रही है.


तकनीकी खराबियों का सिलसिला

यह पहली बार नहीं है जब किसी विमान को बीच में डायवर्ट किया गया है। हाल ही में, इंडिगो की एक फ्लाइट को फ्यूल खत्म होने की स्थिति में 'मेडे कॉल' देना पड़ा था, जो विमानन आपात स्थिति का गंभीर संकेत माना जाता है.


ICAO की जांच में दिलचस्पी

देश अभी अहमदाबाद विमान हादसे के सदमे से उबर नहीं पाया है, जिसमें 200 से अधिक लोगों की जान गई थी। केवल एक यात्री ही बच सका था। इसी संदर्भ में, अंतरराष्ट्रीय सिविल एविएशन संगठन (ICAO) ने जांच में शामिल होने की इच्छा जताई है। ICAO तब हस्तक्षेप करती है जब विमान हादसा युद्ध क्षेत्र या सैन्य हमले के कारण होता है, लेकिन अहमदाबाद मामले में ऐसा कोई कारण नहीं पाया गया है.


ICAO का कहना है कि इसकी उपस्थिति से अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार जांच होगी। हालांकि, भारत सरकार ने अभी तक ICAO को जांच में शामिल होने की अनुमति नहीं दी है। अधिकारियों के अनुसार, वर्तमान में जांच पूरी पारदर्शिता और सभी प्रोटोकॉल के साथ की जा रही है.