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नोएडा में यमुना का जलस्तर बढ़ा, हजारों फार्महाउस और मवेशी प्रभावित

नोएडा में यमुना नदी का जलस्तर बढ़ने से हजारों फार्महाउस जलमग्न हो गए हैं। प्रशासन ने प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजा है और राहत सामग्री उपलब्ध कराई जा रही है। ग्रेटर नोएडा के जेवर क्षेत्र में फसलें भी बर्बाद हो गई हैं, जिससे किसानों में निराशा है। प्रशासन ने कम्युनिटी किचन की व्यवस्था की है, जहां बाढ़ पीड़ितों को भोजन दिया जा रहा है। जानें इस स्थिति के बारे में और क्या कदम उठाए जा रहे हैं।
 

यमुना का रौद्र रूप

नोएडा समाचार: यमुना नदी ने एक बार फिर से अपने उग्र रूप का प्रदर्शन किया है। हथिनी कुंड बैराज से पानी छोड़ने के कारण मंगलवार शाम से यमुना का जलस्तर तेजी से बढ़ने लगा। बुधवार को यह जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गया। नोएडा और ग्रेटर नोएडा के डूब क्षेत्र में 1,000 से अधिक फार्महाउस जलमग्न हो गए हैं। लगभग 2,000 पशुओं को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया है।


फार्महाउस और शेल्टर होम

फार्महाउस डूबे, लोग शेल्टर होम भेजे गए
सेक्टर-168 की ऊंची इमारतों से यमुना के डूब क्षेत्र में फैला पानी स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है। जलस्तर 199 मीटर को पार कर चुका है, और कई स्थानों पर यमुना का पानी पुस्ता तक पहुंच गया है। प्रशासन ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए फार्महाउसों और गांवों से लोगों को सुरक्षित निकाला और उन्हें अस्थायी शेल्टर होम में स्थानांतरित किया।


किसानों की फसलें प्रभावित

जेवर में डूबी हजारों बीघा फसल
ग्रेटर नोएडा के जेवर क्षेत्र में बाढ़ का सबसे अधिक प्रभाव पड़ा है। हजारों बीघा में खड़ी फसलें पानी में डूब गई हैं, जिसमें धान, गन्ना और सब्जियां शामिल हैं। इससे किसानों में निराशा और आक्रोश है। किसान हरकेश ने कहा कि हमारी छह महीने की मेहनत और लागत एक ही दिन में बह गई।


प्रशासन की सक्रियता

प्रशासन हरकत में, डीएम ने किया दौरा
डीएम मेधा रूपम ने बुधवार को प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। उन्होंने शेल्टर होम में ठहरे लोगों से बातचीत की और उन्हें हरसंभव मदद का आश्वासन दिया। उन्होंने कहा कि प्रभावित परिवारों को राहत सामग्री, भोजन, दवाएं और अन्य आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं।


मवेशियों की सुरक्षा

मवेशियों को भी सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया
पुलिस और प्राधिकरण की टीमों ने मिलकर डूब क्षेत्र में फंसे लगभग 2,000 मवेशियों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया है। उनके लिए चारे और पानी की व्यवस्था की गई है, और पशु चिकित्सकों की टीम भी तैनात की गई है।


कम्युनिटी किचन की व्यवस्था

कम्युनिटी किचन से मिल रहा भोजन
प्रशासन ने बाढ़ पीड़ितों के लिए कम्युनिटी किचन की व्यवस्था की है, जहां दो समय का गरम खाना दिया जा रहा है। बच्चों और बुजुर्गों की विशेष देखभाल की जा रही है। राहत कार्यों में एनडीआरएफ और स्थानीय स्वयंसेवी संस्थाएं भी सक्रिय हैं।