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बिहार में डॉक्टर की पिटाई: कानून व्यवस्था पर उठे सवाल

बिहार के गया जिले में एक डॉक्टर को पेड़ से बांधकर पीटने की घटना ने कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। डॉक्टर जितेन्द्र यादव को बलात्कार पीड़िता की मां का इलाज करने के दौरान निशाना बनाया गया। इस घटना का वीडियो वायरल हो गया है, जिसमें पुलिस की निष्क्रियता भी दिखाई दे रही है। राजनीतिक नेता तेजस्वी यादव ने इस मामले को लेकर सरकार पर तीखा हमला किया है। जांच जारी है, लेकिन इस घटना ने बिहार में कानून व्यवस्था की स्थिति को लेकर चिंताएं बढ़ा दी हैं।
 

गया में डॉक्टर पर हमला

बिहार के गया जिले से एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है, जिसने राज्य की कानून व्यवस्था को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। एक ग्रामीण चिकित्सक को पेड़ से बांधकर बुरी तरह से पीटा गया। यह घटना फतेहपुर थाना क्षेत्र में हुई, जहां डॉक्टर जितेन्द्र यादव को खून से लथपथ अवस्था में बचाया गया।


घटना का विवरण

डॉक्टर जितेन्द्र यादव झुरांग गांव के निवासी हैं और वह एक बलात्कार पीड़िता की मां का इलाज करने के लिए वहां पहुंचे थे। उनके परिवार का आरोप है कि यह हमला जानबूझकर किया गया और पूरी घटना पूर्व नियोजित थी। वहीं, कुछ स्थानीय लोगों का कहना है कि डॉक्टर को एक महिला के घर आपत्तिजनक स्थिति में पकड़ा गया, जिसके कारण गुस्साए लोगों ने उन पर हमला किया।


वीडियो वायरल और पुलिस की निष्क्रियता

इस दुखद घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल गया है, जिसमें डॉक्टर को पेड़ से बंधा और खून से सना हुआ देखा जा सकता है। वीडियो में पुलिसकर्मी डॉक्टर को मुक्त करते हुए नजर आते हैं, लेकिन वहां मौजूद लोग केवल तमाशा देखते रहे। पुलिस को डायल 112 के माध्यम से सूचना मिली, जिसके बाद घायल डॉक्टर को अस्पताल भेजा गया।


राजनीतिक प्रतिक्रिया

इस घटना ने राजनीतिक तूल पकड़ लिया है। राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के नेता तेजस्वी यादव ने बिहार सरकार पर तीखा हमला किया। उन्होंने वीडियो साझा करते हुए लिखा, "बिहार की स्थिति तालिबान से भी बदतर हो गई है। गया में एक डॉक्टर को केवल इसलिए पेड़ से बांधकर पीटा गया क्योंकि वह बलात्कार पीड़िता की मां का इलाज कर रहा था।"


तेजस्वी यादव का आरोप

तेजस्वी यादव ने आरोप लगाया कि पिछले 20 वर्षों में एनडीए सरकार के भ्रष्टाचार के कारण पुलिस और प्रशासन पूरी तरह से विफल हो गए हैं। उन्होंने कहा, "अब लोग खुद कानून अपने हाथ में ले रहे हैं, सरकार का कोई अस्तित्व नहीं रह गया है। मुख्यमंत्री बेहोश हैं, अधिकारी और मंत्री खजाने की लूट में व्यस्त हैं, और शासन व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा चुकी है।"


जांच प्रक्रिया

इस घटना के बाद पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है। कई ग्रामीणों से पूछताछ की जा रही है। हालांकि, इस मामले की सच्चाई क्या है, यह जांच के बाद ही स्पष्ट होगा। लेकिन इस घटना ने एक बार फिर से बिहार की कानून व्यवस्था और प्रशासन की कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।