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श्रीनगर एयरपोर्ट पर सेना अधिकारी की हिंसक हरकत, स्पाइसजेट ने की कड़ी कार्रवाई

श्रीनगर एयरपोर्ट पर एक लेफ्टिनेंट कर्नल रैंक के अधिकारी द्वारा स्पाइसजेट के कर्मचारियों के साथ की गई हिंसक हरकत ने भारतीय सेना की अनुशासनिक छवि पर सवाल खड़े कर दिए हैं। इस घटना के बाद स्पाइसजेट ने कड़ी कार्रवाई करते हुए एफआईआर दर्ज करवाई और अधिकारी को नो-फ्लाई लिस्ट में डालने की प्रक्रिया शुरू की। जानें इस विवाद की पूरी कहानी और सेना की प्रतिक्रिया।
 

भारतीय सेना का अनुशासन पर सवाल

भारतीय सेना की अनुशासनिक छवि को लेकर हाल ही में श्रीनगर एयरपोर्ट पर एक घटना ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं। 26 जुलाई को दिल्ली जाने वाली स्पाइसजेट फ्लाइट SG-386 में एक लेफ्टिनेंट कर्नल रैंक के अधिकारी ने एयरलाइन के कर्मचारियों के साथ हाथापाई की, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल गया। भारतीय सेना ने इस मामले पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि वे अनुशासन के उच्चतम मानकों के प्रति प्रतिबद्ध हैं और आरोपों की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए जांच में सहयोग करेंगे।


हाथापाई की शुरुआत

यह विवाद तब शुरू हुआ जब अधिकारी ने अपने केबिन बैग में निर्धारित सीमा से अधिक सामान लेकर उड़ान में चढ़ने का प्रयास किया। उनके दो बैग का कुल वजन लगभग 16 किलोग्राम था, जबकि अधिकतम सीमा केवल 7 किलोग्राम है। जब स्पाइसजेट के स्टाफ ने उनसे अतिरिक्त शुल्क देने को कहा, तो वह बिना भुगतान किए ही बोर्डिंग करने की कोशिश करने लगे। सीआईएसएफ ने उन्हें रोका और वापस गेट पर ले आई, जिसके बाद मामला हिंसक हो गया।


कर्मचारियों पर हमला

कर्मचारियों पर जानलेवा हमला


गेट पर पहुंचते ही अधिकारी ने अचानक चार ग्राउंड स्टाफ पर लात-घूंसे से हमला कर दिया। एक कर्मचारी को गंभीर चोटें आईं, जिससे वह बेहोश हो गया। दूसरे कर्मचारी को भी गंभीर चोटें आईं, जिससे खून बहने लगा। सभी घायलों को अस्पताल ले जाया गया, जहां उनका इलाज जारी है।


स्पाइसजेट की प्रतिक्रिया

एयरलाइन का बयान और कार्रवाई


स्पाइसजेट ने इस घटना को "हत्या जैसी कोशिश" बताते हुए इसकी कड़ी निंदा की है। एयरलाइन ने स्थानीय पुलिस में एफआईआर दर्ज करवाई है और अधिकारी को नो-फ्लाई लिस्ट में डालने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। इसके अलावा, नागर विमानन मंत्रालय को सूचित किया गया है और एयरपोर्ट प्राधिकरण से सीसीटीवी फुटेज पुलिस को सौंपा गया है। स्पाइसजेट ने कहा है कि उनके कर्मचारियों की सुरक्षा सर्वोपरि है और ऐसे मामलों में कोई ढिलाई नहीं बरती जाएगी।


सेना की प्रतिक्रिया

सेना ने क्या प्रतिक्रिया दी?


भारतीय सेना ने इस मामले को गंभीरता से लिया है। सेना के एक अधिकारी ने कहा कि भारतीय सेना अनुशासन और व्यवहार के उच्चतम मानकों को बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है और सभी आरोपों की गंभीरता से जांच की जाएगी।