अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला ने साझा किए अपने ISS अनुभव
दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस में अनुभव साझा करते शुभांशु शुक्ला
नई दिल्ली - अंतरिक्ष यात्री और ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला ने गुरुवार को दिल्ली में अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) पर अपने सफल मिशन के अनुभव साझा किए। इसरो के अध्यक्ष वी. नारायणन के साथ आयोजित एक संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में, शुभांशु ने अपने अंतरिक्ष मिशन के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि एक्सियम मिशन के तहत वे ISS में दो सप्ताह तक रहे, जहां वे मिशन के पायलट और कमांडर थे।
प्रेस ब्रीफिंग के दौरान, शुभांशु ने कहा कि यह मिशन पूरे देश का था और यह अनुभव ज़मीनी अनुभवों से बहुत भिन्न था। उन्होंने भारत सरकार, इसरो और शोधकर्ताओं का आभार व्यक्त किया। ISS में बिताए गए दो हफ्तों के दौरान, उन्होंने कई प्रयोग किए और तस्वीरें लीं। इसके लिए उन्होंने विशेष प्रशिक्षण लिया था। शुभांशु ने कहा कि अंतरिक्ष में शरीर को 3-4 दिन में अनुकूलित होने में समय लगता है, और यह मिशन कई मायनों में सफल रहा।
शुभांशु ने आगे कहा कि मानव अंतरिक्ष मिशन का लाभ केवल प्रशिक्षण तक सीमित नहीं है। वहां रहकर जो ज्ञान प्राप्त होता है, वह अमूल्य है। पिछले एक वर्ष में उन्होंने जो जानकारी इकट्ठा की है, वह भारत के गगनयान और भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन के लिए अत्यंत उपयोगी होगी। उन्होंने कहा कि जल्द ही हम अपने रॉकेट और कैप्सूल के माध्यम से किसी को अंतरिक्ष में भेजेंगे। यह अनुभव ज़मीन पर सीखे गए अनुभवों से बहुत अलग होता है, क्योंकि अंतरिक्ष में 20 दिन बिताने के बाद शरीर ग्रेविटी में रहना भूल जाता है।
प्रेस कॉन्फ्रेंस में शुभांशु के साथ प्रशांत बी नायर भी उपस्थित थे। उन्होंने कहा कि दीपावली का समय नजदीक है, जो राम जी के अयोध्या लौटने का समय है। उन्होंने शुभांशु को अपने राम की उपमा दी और कहा कि वह हमेशा उनके लक्ष्मण बनने के लिए तैयार रहेंगे। प्रशांत ने इसरो की टीम का भी धन्यवाद किया, जिनकी मदद के बिना यह मिशन संभव नहीं था।