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गाजा संघर्ष समाप्त, ट्रंप ने शांति सम्मेलन में भारत का प्रतिनिधित्व किया

गाजा और इजरायल के बीच दो साल से अधिक समय से चल रहे संघर्ष का अंत हो गया है। इस अवसर पर ट्रंप ने अपनी शांति पहल का जिक्र किया और भारत के प्रधानमंत्री मोदी ने निमंत्रण अस्वीकार कर दिया। विदेश राज्य मंत्री कीर्ति वी. सिंह भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे। शांति सम्मेलन में कई प्रमुख नेता शामिल होंगे, जिनमें फ्रांस के राष्ट्रपति और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री शामिल हैं। जानें इस महत्वपूर्ण घटनाक्रम के बारे में और क्या है आगे की योजना।
 

गाजा और इजरायल के बीच संघर्ष का अंत

गाजा और इजरायल के बीच दो साल से अधिक समय से चल रहे संघर्ष का अंत हो गया है, और बंदियों की रिहाई भी हो चुकी है। इस अवसर पर मीडिल ईस्ट की यात्रा पर पहुंचे पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने अपनी उपलब्धियों का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि यह उनका आठवां युद्ध है जिसे उन्होंने सुलझाया है। ट्रंप ने पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच चल रहे संघर्ष को भी हल करने का वादा किया। उन्होंने यह भी कहा कि वह युद्ध सुलझाने में कुशल हैं। ट्रंप ने बताया कि उन्होंने कुछ युद्धों का समाधान टैरिफ़ के माध्यम से किया। उदाहरण के लिए, भारत और पाकिस्तान के बीच, उन्होंने कहा कि यदि दोनों देश युद्ध करना चाहते हैं और उनके पास परमाणु हथियार हैं, तो वह उन पर भारी टैरिफ़ लगाएंगे, जैसे 100%, 150% और 200%। उन्होंने कहा कि टैरिफ़ लगाने के बाद उन्होंने 24 घंटों में उस मामले का समाधान कर दिया। यदि उनके पास टैरिफ़ नहीं होते, तो वह युद्ध को कभी नहीं सुलझा पाते।


PM मोदी का निमंत्रण अस्वीकार

PM मोदी ने निमंत्रण अस्वीकार किया, विदेश राज्य मंत्री को भेजा

हालांकि, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उन नेताओं में शामिल थे जिन्हें मिस्र के राजदूत कामेल गलाली के माध्यम से ट्रंप और अल-सीसी से निमंत्रण मिला था, लेकिन वे शांति शिखर सम्मेलन में भाग नहीं ले पाएंगे। भारत ने स्पष्ट किया है कि न तो मोदी और न ही विदेश मंत्री एस. जयशंकर कम समय के नोटिस पर मिस्र की यात्रा कर सकेंगे। हालांकि, विदेश राज्य मंत्री कीर्ति वी. सिंह इस शिखर सम्मेलन में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे। मोदी इस सप्ताह के अंत में मिस्र के विदेश मंत्री बद्र अब्देलती से मुलाकात करेंगे, जब वह दोनों देशों के बीच रणनीतिक वार्ता के लिए भारत आएंगे।


शांति सम्मेलन में शामिल नेता

कौन से नेता शामिल होंगे

फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों शांति बैठक में शामिल होने वाले नेताओं में से एक हैं। एलीसी पैलेस के अनुसार, वह समझौते के कार्यान्वयन के लिए अपना समर्थन व्यक्त करेंगे। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टारमर, जिन्होंने गाजा में जल और स्वच्छता के लिए 2.7 करोड़ डॉलर के दान की घोषणा की है, भी उपस्थित रहेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि ब्रिटेन गाजा के पुनर्निर्माण और पुनरुद्धार की योजनाओं के समन्वय के लिए तीन दिवसीय सम्मेलन की मेज़बानी करेगा। डाउनिंग स्ट्रीट ने कहा है कि स्टारमर ट्रंप को विशेष श्रद्धांजलि देंगे और "हमें इस मुकाम तक पहुँचाने" के लिए मिस्र, कतर और तुर्की का धन्यवाद करेंगे। संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस, यूरोपीय संघ के अध्यक्ष एंटोनियो कोस्टा और इटली के प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी ने भी कहा है कि वे शर्म अल-शेख में मौजूद रहेंगे। तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तैयप एर्दोआन भी इस शिखर सम्मेलन में शामिल होंगे। वर्षों तक हमास के राजनीतिक नेताओं की मेज़बानी करने वाला यह देश युद्धविराम समझौते में मदद करने वाले वार्ताकारों में शामिल था।