पंजाब में एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स की सफलता
एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स की प्रभावशीलता
- पंजाब में आपराधिक गतिविधियों में कमी
चंडीगढ़: पंजाब में मान सरकार के सत्ता में आने के बाद से आपराधिक तत्वों की गतिविधियों में कमी आई है। गैंगस्टरों की संख्या समाज में घट रही है, जबकि जेलों में उनकी संख्या बढ़ रही है। इसका मुख्य कारण है मान सरकार द्वारा स्थापित एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स, जिसने गैंगस्टरों पर कड़ी कार्रवाई की है।
मान सरकार ने गैंगस्टरवाद के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति अपनाई है। हाल ही में अमृतसर में एक एसएसपी को निलंबित किया गया, जो इस नीति का प्रमाण है। मुख्यमंत्री भगवंत मान ने स्पष्ट किया है कि गैंगस्टरों के खिलाफ कार्रवाई में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी, और विफल अधिकारियों पर कार्रवाई की जा रही है। पिछले एक वर्ष में, एजीटीएफ ने पंजाब के विभिन्न जिलों में कई बड़े अभियानों का संचालन किया है, जिसके परिणामस्वरूप कई वांछित अपराधियों की गिरफ्तारी, अवैध हथियारों की बरामदगी और जबरन वसूली गिरोहों का पर्दाफाश हुआ है।
एजीटीएफ का ध्यान आपराधिक नेटवर्क में भर्ती की श्रृंखला को तोड़ने पर भी है। गिरोह लंबे समय से कमजोर युवाओं को निशाना बनाते रहे हैं, उन्हें जल्दी पैसे कमाने का लालच देते हैं। शिक्षा और सामुदायिक विभागों के सहयोग से, टास्क फोर्स ने स्कूलों और कॉलेजों में जागरूकता अभियान शुरू किए हैं, ताकि युवाओं को गिरोह में शामिल होने के दुष्परिणामों के बारे में बताया जा सके। इसके अलावा, आपराधिक जीवन से बाहर निकलने के इच्छुक लोगों के लिए पुनर्वास कार्यक्रम भी शुरू किए गए हैं, जिसमें कौशल प्रशिक्षण, नौकरी सहायता और मनोवैज्ञानिक परामर्श शामिल हैं। यह दृष्टिकोण दंडात्मक से सुधारात्मक दिशा में बदलाव का प्रतीक है।