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महेश बाबू कानूनी विवाद में फंसे, रियल एस्टेट धोखाधड़ी का मामला

दक्षिण भारत के सुपरस्टार महेश बाबू एक कानूनी विवाद में फंस गए हैं, जिसमें उन्हें रियल एस्टेट धोखाधड़ी के मामले में नोटिस मिला है। एक डॉक्टर ने आरोप लगाया है कि महेश बाबू के विज्ञापन के कारण उन्होंने एक फर्जी प्रोजेक्ट में 34.8 लाख रुपये का निवेश किया। उपभोक्ता आयोग ने महेश बाबू और संबंधित रियल एस्टेट कंपनी को सुनवाई के लिए बुलाया है। यह मामला पहले भी महेश बाबू की जांच का विषय रहा है, जब प्रवर्तन निदेशालय ने उनसे मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में पूछताछ की थी। जानें इस विवाद का पूरा सच।
 

महेश बाबू का विवादास्पद विज्ञापन

हैदराबाद: दक्षिण भारत के प्रसिद्ध अभिनेता महेश बाबू एक बार फिर चर्चा में हैं, लेकिन इस बार उनकी फिल्म नहीं, बल्कि एक कानूनी समस्या है। हैदराबाद की एक रियल एस्टेट कंपनी के विज्ञापन में उनकी भागीदारी ने उन्हें धोखाधड़ी के मामले में उलझा दिया है। रंगा रेड्डी जिला उपभोक्ता आयोग ने साई सूर्या डेवलपर्स से जुड़े एक धोखाधड़ी मामले में अभिनेता को नोटिस जारी किया है, जहां महेश बाबू इस कंपनी के ब्रांड एंबेसडर थे।


यह मामला एक डॉक्टर द्वारा दर्ज की गई शिकायत के बाद सामने आया। डॉक्टर का कहना है कि उन्होंने साई सूर्या डेवलपर्स के एक प्रोजेक्ट में निवेश किया क्योंकि महेश बाबू उसका प्रचार कर रहे थे। विज्ञापन से प्रभावित होकर उन्होंने एक लेआउट में 34.8 लाख रुपये का निवेश किया, जो वास्तव में मौजूद नहीं था। शिकायतकर्ता का आरोप है कि महेश बाबू के विज्ञापन ने इस धोखाधड़ी योजना को विश्वसनीय बना दिया, जिसके कारण वह ठगी का शिकार हुईं।


उपभोक्ता आयोग ने महेश बाबू के साथ-साथ साई सूर्या डेवलपर्स और उसके मालिक कंचरला सतीश चंद्र गुप्ता को सुनवाई के लिए उपस्थित होने का आदेश दिया है। मामले की अगली सुनवाई 7 अगस्त को होगी।


यह पहली बार नहीं है जब महेश बाबू का नाम इस तरह के विवाद में आया है। अप्रैल 2025 में, प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने भी साई सूर्या डेवलपर्स और सुराना ग्रुप से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उनसे पूछताछ की थी। रिपोर्टों के अनुसार, उन्हें इन प्रोजेक्ट्स का प्रचार करने के लिए लगभग 5.9 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया था, जिसमें से कुछ राशि नकद में थी। हालांकि, ईडी ने उन्हें आधिकारिक तौर पर आरोपी नहीं बनाया है, लेकिन उनकी संलिप्तता की जांच जारी है। इस नए नोटिस पर महेश बाबू या उनकी टीम की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है।