स्वतंत्रता दिवस 2025: लाल किले पर 105 MM गन की धूमधाम
स्वतंत्रता दिवस की तैयारियों में सुरक्षा का कड़ा इंतजाम
स्वतंत्रता दिवस 2025: भारत 15 अगस्त को अपनी आजादी का जश्न मनाने के लिए तैयार है। इस अवसर पर दिल्ली में सुरक्षा व्यवस्था को कड़ा किया गया है। प्रधानमंत्री लाल किले से भाषण देंगे और इसके लिए उन्होंने जनता से सुझाव भी मांगे हैं। लाल किले में होने वाले कार्यक्रमों की तैयारियां तेजी से चल रही हैं। हाल ही में जवानों ने उस गन से प्रैक्टिस की, जिसका उपयोग ऑपरेशन सिंदूर में किया गया था। अब भारतीय 105 MM गन की गूंज लाल किले पर सुनाई देगी। आइए जानते हैं इसकी विशेषताएँ क्या हैं?
ऑपरेशन सिंदूर के बाद लाल किले पर
स्वतंत्रता दिवस की तैयारियों का काम जोरों पर है। हाल ही में भारत ने ऑपरेशन सिंदूर को सफलतापूर्वक पूरा किया। इस बार गरजती भारतीय 105 MM गन का उपयोग लाल किले में किया जाएगा। तोपों की सलामी देने की तैयारी पूरी हो चुकी है। पिछले तीन वर्षों से हर स्वतंत्रता दिवस समारोह में इन्हीं तोपों से सलामी दी जाती है। इस बार भी 21 तोपों की सलामी दी जाएगी, जिसमें झंडा फहराने के दौरान 52 सेकंड में लगभग 21 राउंड फायर किए जाएंगे।
क्या है 105 MM गन की खासियत?
यह गन भारत की स्वदेशी तकनीक से निर्मित है और इसके दो वेरिएंट हैं: इंडियन फील्ड गन और लाइट फील्ड गन। लाइट फील्ड गन का वजन इंडियन फील्ड गन से कम है, जिससे इसे हेलिकॉप्टर में आसानी से ले जाया जा सकता है। इसकी फायरिंग रेंज 16 से 20 किलोमीटर है और यह एक मिनट में 6 राउंड फायर कर सकती है। भारतीय सेना के पास यह गन 1982 से है और इसका निर्माण ऑर्डिनेंस फैक्ट्री बोर्ड ने किया है। ऑपरेशन सिंदूर में भी इसका उपयोग किया गया था।