दिल्ली में घने कोहरे और प्रदूषण से उड़ान संचालन प्रभावित
घने कोहरे का प्रभाव
रविवार रात 29 दिसंबर 2025 को नई दिल्ली में घने कोहरे और प्रदूषण का सामना करना पड़ा। IGI एयरपोर्ट पर दृश्यता में कमी आई, जिससे विमान संचालन पर असर पड़ने की संभावना बढ़ गई। चंद्रमा की ठंडी परत और हवा में धुंध ने रनवे संचालन को चुनौती दी है।
लो-विजिबिलिटी प्रोटोकॉल की पुष्टि
DIAL ने लो-विजिबिलिटी प्रोटोकॉल लागू होने की जानकारी दी है। हालांकि, उड़ानें अभी भी सामान्य चल रही हैं, लेकिन एयरलाइंस ने यात्रियों को संभावित देरी, मार्ग परिवर्तन या रद्द होने के लिए तैयार रहने की सलाह दी है। ग्राउंड टीमें सहायता के लिए अलर्ट मोड में हैं।
मौसम और प्रदूषण का प्रभाव
दिल्ली-एनसीआर में सुबह और रात के कोहरे का सबसे अधिक प्रभाव रनवे की दृश्यता, टेक-ऑफ क्लीयरेंस और लैंडिंग स्लॉट पर पड़ता है। जब हवा की गुणवत्ता गंभीर होती है, तो पायलट और एयर ट्रैफिक कंट्रोल के बीच समन्वय और भी महत्वपूर्ण हो जाता है। धुंध और प्रदूषक कणों की मोटी परत विमान के इंजन और एयर सेंसर पर अतिरिक्त दबाव डालती है, जिससे संचालन में सावधानी बढ़ जाती है।
यात्रियों के लिए एयरपोर्ट की सलाह
रविवार रात 11:03 बजे DIAL ने बताया कि IGI एयरपोर्ट पर लो-विजिबिलिटी प्रक्रियाएं लागू हैं। सभी उड़ानें सामान्य हैं, लेकिन यात्रियों को अपनी एयरलाइन से लाइव अपडेट लेने की सलाह दी गई है। एयरपोर्ट के सूत्रों के अनुसार, कोहरे की स्थिति बिगड़ने पर ATC संचालन में अतिरिक्त अंतराल दिया जा सकता है, जिससे शेड्यूल प्रभावित हो सकता है।
एयर इंडिया की चेतावनी
एयर इंडिया ने शनिवार रात को एक सलाह जारी की, जिसमें कहा गया कि दिल्ली और उत्तर भारत में घना कोहरा दृश्यता को प्रभावित करेगा, जिससे उड़ान संचालन में बाधा आ सकती है। एयरलाइन ने यात्रियों को आश्वस्त किया है कि किसी भी बदलाव की स्थिति में ग्राउंड टीमें आवश्यक सहायता प्रदान करेंगी।
स्पाइसजेट का अलर्ट
स्पाइसजेट ने भी चेतावनी दी है कि खराब दृश्यता के कारण दिल्ली से आने-जाने वाली उड़ानों पर असर पड़ सकता है। खासकर सुबह के समय टेक-ऑफ में देरी हो सकती है। नोएडा और आसपास के क्षेत्रों में दृश्यता लगभग शून्य है, जिससे हवाई और जमीनी यात्रा में अतिरिक्त सावधानी बरतने की आवश्यकता है।
AQI और दृश्यता की चुनौती
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अनुसार, रात 11:20 बजे दिल्ली का AQI 404 दर्ज किया गया, जो गंभीर श्रेणी में आता है। प्रदूषण और कोहरे का संयोजन दृश्यता को और कम करता है, जिससे पायलट को ILS (इंस्ट्रूमेंट लैंडिंग सिस्टम) पर अधिक निर्भर रहना पड़ता है। विशेषज्ञों का कहना है कि यह स्थिति अस्थायी है, लेकिन सुबह तक प्रभाव बढ़ सकता है।