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राजस्थान में हर दिन गाया जाएगा 'वंदे मातरम', देशभक्ति वर्ष की शुरुआत

राजस्थान सरकार ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है, जिसके तहत सभी सरकारी कार्यालयों, स्कूलों और कॉलेजों में हर दिन 'वंदे मातरम' गाया जाएगा। यह पहल 2025 में 'वंदे मातरम' के 150 वर्ष पूरे होने के अवसर पर की जा रही है। शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने इसे भारत की आत्मा का प्रतीक बताया है। इसके साथ ही, कम विद्यार्थियों वाले स्कूलों के विलय की प्रक्रिया भी तेज की जाएगी। जानें इस निर्णय के पीछे के उद्देश्य और इसके संभावित प्रभाव।
 

जयपुर में नई पहल की घोषणा


जयपुर: राजस्थान सरकार ने राज्य में देशभक्ति की भावना को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। अब सभी सरकारी कार्यालयों, स्कूलों, कॉलेजों और मदरसों में प्रतिदिन राष्ट्रीय गीत 'वंदे मातरम' गाया जाएगा।


150 वर्ष का जश्न

यह निर्णय उस समय लिया गया है जब 'वंदे मातरम' 7 नवंबर 2025 को अपने 150 वर्ष पूरे करने जा रहा है। इस ऐतिहासिक अवसर को विशेष रूप से मनाने के लिए राज्य सरकार ने पूरे वर्ष को 'देशभक्ति वर्ष' के रूप में मनाने का निर्णय लिया है।


'वंदे मातरम' का महत्व

शिक्षा मंत्री का बयान


राज्य के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने इस पहल की घोषणा करते हुए कहा कि 'वंदे मातरम' केवल एक गीत नहीं है, बल्कि यह भारत की आत्मा का प्रतीक है। उन्होंने बताया कि यह गीत हर भारतीय के दिल में देशभक्ति की भावना को जागृत करता है। यह हमें हमारी साझा संस्कृति और बलिदान की याद दिलाता है, इसलिए इसे हर सरकारी संस्था में प्रतिदिन गाया जाना चाहिए।


दिलावर ने यह भी स्पष्ट किया कि यह आदेश सभी सरकारी संस्थानों पर लागू होगा, चाहे वे कार्यालय हों, कॉलेज हों, स्कूल हों या मदरसे।


शिक्षा विभाग में सुधार

स्कूलों का विलय


इस घोषणा के साथ ही शिक्षा मंत्री ने एक और महत्वपूर्ण कदम उठाने की बात की। उन्होंने बताया कि राज्य में शिक्षा की गुणवत्ता और संसाधनों के बेहतर उपयोग के लिए कम विद्यार्थियों वाले स्कूलों का विलय किया जा रहा है। इस वर्ष अब तक 449 स्कूलों का विलय किया जा चुका है, और अगले वर्ष 312 और स्कूलों को नजदीकी स्कूलों में जोड़ा जाएगा। इनमें 25 से कम छात्रों वाले 155 उच्च माध्यमिक विद्यालय और 5 या उससे कम नामांकन वाले 157 प्राथमिक विद्यालय शामिल हैं।


दिलावर ने कहा कि दो वर्षों के प्रयासों के बावजूद जिन स्कूलों में छात्रों की संख्या नहीं बढ़ी है, उन्हें नजदीकी स्कूलों में मर्ज किया जाएगा ताकि बच्चों को दूर जाने में परेशानी न हो। सर्वे का कार्य जारी है और यह प्रक्रिया अगले शैक्षणिक सत्र की शुरुआत तक पूरी हो जाएगी।


'देशभक्ति वर्ष' का उद्देश्य

राष्ट्रभावना को नया आयाम


राजस्थान सरकार का यह कदम न केवल शिक्षा क्षेत्र में अनुशासन और एकता को बढ़ावा देगा, बल्कि विद्यार्थियों में राष्ट्रप्रेम और नैतिक चेतना को भी मजबूत करेगा। 'वंदे मातरम्' के 150 वर्ष पूरे होने के अवसर पर राज्यभर में विशेष कार्यक्रम, सांस्कृतिक आयोजन और देशभक्ति से जुड़े अभियान चलाने की योजना है। सरकार का मानना है कि 'वंदे मातरम' केवल एक गीत नहीं है, बल्कि यह भारत माता के प्रति समर्पण का प्रतीक है, जो हर पीढ़ी को देश की सेवा के लिए प्रेरित करता रहेगा।