संकष्टी चतुर्थी 2025: चांद निकलने का समय और पूजा विधि
संकष्टी चतुर्थी का महत्व
आज, 10 सितंबर 2025 को, बुधवार के दिन विघ्नराज संकष्टी चतुर्थी का व्रत मनाया जा रहा है, जो भगवान गणेश को समर्पित है। आश्विन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि पर भक्त चंद्रमा और गणेश जी की पूजा करते हैं और व्रत का पारण करते हैं। चांद निकलने के बाद की पूजा से इस व्रत का पूरा फल प्राप्त होता है। आइए जानते हैं कि आज चांद कब निकलेगा और संकष्टी चतुर्थी की पूजा कैसे करनी है।
चांद निकलने का समय
द्रिक पंचांग के अनुसार, 10 सितंबर को रात 8:06 बजे चंद्रमा का उदय होगा। इस समय भगवान चंद्रमा और गणेश जी की पूजा की जाएगी। चतुर्थी तिथि 10 सितंबर को दोपहर 3:37 बजे से शुरू होकर 11 सितंबर को दोपहर 12:45 बजे तक रहेगी। इस दौरान रात में चतुर्थी का चांद दिखाई देगा।
संकष्टी चतुर्थी की पूजा विधि
रात 8:06 बजे चांद निकलने पर स्नान कर स्वच्छ कपड़े पहनें। चंद्रमा को जल, दूध, अक्षत और फूलों से अर्घ्य दें। इसके बाद भगवान गणेश की पूजा करें और व्रत कथा सुनें। पूजा के बाद व्रत का पारण करें। यह पूजा विघ्नहर्ता गणेश जी की कृपा प्राप्त करने और सभी बाधाओं को दूर करने के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण मानी जाती है।