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हरियाणा और हिमाचल मिलकर किशाऊ डैम परियोजना का विकास करेंगे

हरियाणा और हिमाचल प्रदेश की सरकारें मिलकर किशाऊ डैम परियोजना का विकास करने जा रही हैं, जो लगभग 5400 एकड़ में बनेगा। इस परियोजना की लागत 7 से 8 हजार करोड़ रुपए होगी और इससे हरियाणा को 600 मेगावाट अतिरिक्त बिजली मिलेगी। मुख्यमंत्री नायब सैनी ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से बातचीत की है, जिसमें सकारात्मक संकेत मिले हैं। दोनों राज्यों ने तकनीकी बाधाओं को दूर करने के लिए सहमति बनाई है। इस परियोजना से जल आपूर्ति में सुधार होगा और बिजली उत्पादन में वृद्धि होगी।
 

किशाऊ डैम परियोजना का महत्व


5400 एकड़ में बनेगा डैम, लागत 7 से 8 हजार करोड़ रुपए
केंद्र सरकार के सहयोग से हरियाणा और हिमाचल प्रदेश की सरकारें मिलकर किशाऊ डैम परियोजना का विकास करेंगी। यह डैम लगभग 5400 एकड़ क्षेत्र में स्थापित होगा, जिसकी लागत 7 से 8 हजार करोड़ रुपए के बीच होगी। यह डैम हिमाचल प्रदेश की भूमि पर बनेगा। वर्तमान में, हरियाणा को अपनी कुल जल आपूर्ति का 47% किशाऊ डैम से प्राप्त होता है, जिससे जल आपूर्ति में सुधार होगा और बिजली उत्पादन में भी वृद्धि होगी।


बिजली उत्पादन में वृद्धि

हरियाणा को इस परियोजना से 600 मेगावाट अतिरिक्त बिजली प्राप्त होगी। इस संदर्भ में, हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैनी ने दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से चर्चा की, जिसमें सकारात्मक संकेत मिले हैं। सीएम सैनी ने बताया कि इस मुद्दे पर उच्चस्तरीय वार्ता हो चुकी है और जल्द ही अच्छी खबर आने की उम्मीद है।


सहमति और तकनीकी बाधाएं

हरियाणा और हिमाचल प्रदेश की सरकारें आपसी मुद्दों और विवादों को सुलझाने पर सहमत हो गई हैं। किशाऊ बांध के निर्माण में आने वाली तकनीकी और कानूनी बाधाओं को दूर करने के लिए दोनों राज्यों ने सहमति बनाई है।


इसके अलावा, किशाऊ बांध के निर्माण में आ रही बाधाओं को दूर करने के लिए दोनों राज्यों की समितियों का गठन किया गया है। इसी साल 10 जनवरी को, दोनों राज्यों ने इस परियोजना के लिए तकनीकी समितियों का गठन किया है।