अंतिम पंघाल ने हंगरी में जीता स्वर्ण पदक, भारत का नाम रोशन किया
अंतिम पंघाल की ऐतिहासिक जीत
अंतिम पंघाल ने हंगरी में आयोजित रैंकिंग सीरीज में स्वर्ण पदक जीतकर भारत को गर्वित किया है। यह उपलब्धि हरियाणा के हिसार जिले के छोटे से गांव भगाना की इस प्रतिभाशाली पहलवान के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है।
उन्होंने 53 किलोग्राम वर्ग में रूस की नतालिया मलिशेवा को 7-4 से हराकर यह पदक हासिल किया। यह इस वर्ष उनका दूसरा अंतरराष्ट्रीय खिताब है, इससे पहले उन्होंने मई में उलानबातार ओपन में भी स्वर्ण पदक जीता था। उनकी जीत का जज्बा हर मुकाबले में स्पष्ट दिखाई देता है।
ओलंपिक क्वालिफिकेशन में शानदार प्रदर्शन
पेरिस 2024 ओलंपिक क्वालिफिकेशन के एक महत्वपूर्ण मुकाबले में, अंतिम ने तुर्किये की जेनेप येतगिल को 10-0 से हराकर अपनी पिछली हार का बदला लिया। पिछले साल इसी स्कोर से उन्हें हार का सामना करना पड़ा था, लेकिन इस बार उन्होंने शानदार वापसी की।
इसके बाद सेमीफाइनल में, उन्होंने अमेरिका की फेलिसिटी टेलर को भी 10-0 से हराया। दो बार की जूनियर वर्ल्ड चैंपियन ने अपनी क्षमता को फिर से साबित किया है। इस जीत से उन्हें सितंबर में क्रोएशिया में होने वाली विश्व कुश्ती चैंपियनशिप में बेहतर वरीयता मिलेगी।
पिता का सपना पूरा करती अंतिम
जब गांव में कुश्ती कोच नहीं मिला, तो अंतिम के पिता ने उसकी प्रतिभा को निखारने के लिए हिसार में घर बसाया। तीन साल तक किराए के मकान में रहकर उन्होंने अपनी बेटी के सपनों को साकार करने में कोई कसर नहीं छोड़ी।
अब अंतिम U20 एशियन चैंपियनशिप, जूनियर नेशनल्स, और U23 एशियन चैंपियनशिप जैसी प्रतियोगिताओं में मेडल जीतकर अपने माता-पिता के त्याग को सफल बना रही हैं। उनकी मेहनत की गूंज अब पूरी दुनिया में सुनाई दे रही है।