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सीन विलियम्स का करियर ड्रग्स के कारण समाप्त, चयनकर्ताओं ने कहा 'अब कभी नहीं चुनेंगे'

सीन विलियम्स, जिम्बाब्वे के सीनियर बल्लेबाज, ने हाल ही में ड्रग्स की लत के कारण अपने करियर का अंत किया। उन्होंने अपनी समस्या को स्वीकार किया, लेकिन इसके परिणामस्वरूप जिम्बाब्वे क्रिकेट बोर्ड ने उन्हें राष्ट्रीय चयन के लिए अनुपलब्ध घोषित कर दिया। इस लेख में उनके करियर, बोर्ड के निर्णय और उनके योगदान पर चर्चा की गई है। जानें कि कैसे एक ईमानदारी का कदम उनके लिए भारी पड़ गया।
 

सीन विलियम्स का चौंकाने वाला खुलासा

एक अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटर ने हाल ही में अपने जीवन के एक कठिन दौर का खुलासा किया। भारतीय प्रशंसकों के प्रिय खिलाड़ी ने बताया कि वह ड्रग्स की लत का शिकार हो गए थे और इससे छुटकारा पाने के लिए उन्हें रिहैबिलिटेशन सेंटर में समय बिताना पड़ा।


बोर्ड का कड़ा रुख

हालांकि, उनकी ईमानदारी ने नकारात्मक परिणाम दिए। क्रिकेट बोर्ड ने उनके बयान के बाद उनकी टीम में वापसी के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं। अब यह खिलाड़ी, जिसने अपनी गलती स्वीकार की थी, खुद को टीम से बाहर पाकर चकित है।


ड्रग्स की लत से जूझते सीन विलियम्स

जिम्बाब्वे के सीनियर बल्लेबाज सीन विलियम्स ने हाल ही में एक चौंकाने वाला खुलासा किया है। 39 वर्षीय विलियम्स ने बताया कि वह इस समय ड्रग्स की लत से जूझ रहे हैं और खुद अपना इलाज करवा रहे हैं। इस खुलासे के बाद जिम्बाब्वे क्रिकेट बोर्ड ने उन्हें राष्ट्रीय चयन के लिए अनुपलब्ध घोषित कर दिया।


बोर्ड की सराहना और अनुबंध रद्द

जिम्बाब्वे क्रिकेट बोर्ड ने इस मुद्दे पर सख्त रुख अपनाते हुए विलियम्स का अनुबंध रद्द करने का निर्णय लिया। हालांकि, बोर्ड ने उनके रिहैबिलिटेशन के कदम की सराहना की और कहा कि सभी खिलाड़ियों को अनुशासन और एंटी-डोपिंग नियमों का पालन करना चाहिए।


विलियम्स का योगदान

बोर्ड ने कहा कि पिछले दो दशकों में विलियम्स का योगदान अमूल्य रहा है। उन्होंने कई यादगार पारियां खेलीं और टीम की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। जिम्बाब्वे क्रिकेट ने कहा कि विलियम्स ने मैदान पर और बाहर एक स्थायी विरासत छोड़ी है।


सीन विलियम्स का अंतरराष्ट्रीय करियर

सीन विलियम्स ने 25 फरवरी 2005 को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण किया। उन्होंने वनडे में 164 मैचों में 5217 रन बनाए, जिसमें 8 शतक और 37 अर्धशतक शामिल हैं।