कोच्चि वॉटर मेट्रो की शुरुआत
केरल का कोच्चि शहर जल परिवहन के क्षेत्र में एक नई शुरुआत कर रहा है। भारत की पहली और एशिया की सबसे बड़ी एकीकृत जल परिवहन प्रणाली, कोच्चि वॉटर मेट्रो, अब अपनी सेवाएं प्रदान कर रही है। यह महत्वाकांक्षी परियोजना शहर को उसके आसपास के 10 द्वीपों से जोड़ने के साथ-साथ पर्यावरण के अनुकूल परिवहन का एक नया मानक स्थापित करेगी।
वॉटर मेट्रो की विशेषताएँ
कोच्चि वॉटर मेट्रो, जो केरल सरकार और जर्मन कंपनी KfW के सहयोग से विकसित की गई है, अत्याधुनिक इलेक्ट्रिक नावों का संचालन करती है। ये नावें लिथियम टाइटेनेट ऑक्साइड (LTO) बैटरियों से चलती हैं, जिन्हें लगभग 15 मिनट में चार्ज किया जा सकता है। ये बैटरियाँ विश्व की सबसे सुरक्षित और लंबे समय तक चलने वाली व्यावसायिक बैटरियों में से मानी जाती हैं।
इलेक्ट्रिक बोट्स का बेड़ा
इस परियोजना में कुल 78 बैटरी-संचालित इलेक्ट्रिक हाइब्रिड नावें शामिल हैं, जो 38 टर्मिनलों को 16 मार्गों पर जोड़ेंगी, जिनकी कुल लंबाई 76 किलोमीटर है।
यात्री सुविधाएँ
ये वातानुकूलित नावें चौड़ी खिड़कियों के साथ आती हैं, जिससे कोच्चि की सुंदर बैकवाटर्स का अद्भुत दृश्य देखा जा सकता है। यात्रियों की सुरक्षा के लिए लाइफ जैकेट, सीसीटीवी कैमरे और चार्जिंग पॉइंट जैसी सुविधाएँ भी उपलब्ध हैं।
पर्यावरण के प्रति जागरूकता
यह परियोजना प्रदूषण को कम करने और जीवाश्म ईंधन पर निर्भरता घटाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी, जिससे केरल के पर्यावरण को लाभ होगा।
किफायती यात्रा
यात्री सेवा का न्यूनतम किराया 20 रुपये और अधिकतम 40 रुपये है। साप्ताहिक पास 180 रुपये और मासिक पास 600 रुपये में उपलब्ध है। कोच्चि मेट्रो वन कार्ड का उपयोग करके भी यात्रा की जा सकती है।
एकीकृत परिवहन प्रणाली
कोच्चि वॉटर मेट्रो को कोच्चि मेट्रो से भी जोड़ा गया है, जिससे यह शहर के उपनगरीय क्षेत्रों तक परिवहन की सुविधा प्रदान करती है।
भविष्य की संभावनाएँ
यह प्रणाली न केवल द्वीपों पर रहने वाले लोगों के लिए दैनिक यात्रा को सरल बनाएगी, बल्कि पर्यटन को भी बढ़ावा देगी। कोच्चि वॉटर मेट्रो का उद्देश्य कोच्चि क्षेत्र में सार्वजनिक परिवहन को बेहतर और अधिक टिकाऊ बनाना है।