Newzfatafatlogo

ग्वालियर में NEET परीक्षा के बाद छात्र ने आत्महत्या की

ग्वालियर में एक 18 वर्षीय NEET छात्र ने परीक्षा में खराब प्रदर्शन के बाद आत्महत्या कर ली। निखिल प्रताप राठौर ने अपने पिता की बंदूक से खुद को गोली मारी। परिवार ने बताया कि वह एक होनहार छात्र था, लेकिन परीक्षा के परिणाम ने उसे निराश कर दिया। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है। यह घटना छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य पर ध्यान देने की आवश्यकता को उजागर करती है।
 | 
ग्वालियर में NEET परीक्षा के बाद छात्र ने आत्महत्या की

NEET परीक्षा के बाद आत्महत्या का मामला

NEET परीक्षा आत्महत्या मामला: ग्वालियर के 18 वर्षीय छात्र ने मंगलवार को NEET 2025 की उत्तर कुंजी में खराब अंक आने के बाद अपने पिता की बंदूक से आत्महत्या कर ली। परीक्षा के परिणाम अभी तक घोषित नहीं हुए थे। छात्र निखिल प्रताप राठौर अपने प्रदर्शन से बेहद निराश था। प्रारंभिक जांच के अनुसार, निखिल ने उस शाम अपनी NEET उत्तर कुंजी की जांच की। जब उसके माता-पिता ने उसके संभावित स्कोर के बारे में पूछा, तो उसने उत्तर कुंजी के साथ अपनी उत्तर शीट का मिलान किया। जब उसे पता चला कि उसके अंक अपेक्षा से बहुत कम हैं, तो वह अत्यंत निराश हो गया।


इस निराशा ने उसे गहरे मानसिक तनाव में डाल दिया और कुछ समय बाद, निखिल एक कमरे में गया, अपने पिता की लाइसेंसी पिस्तौल उठाई और आत्महत्या कर ली।


गोली की आवाज़ और परिवार की प्रतिक्रिया

गोली की आवाज़


गोली की आवाज़ सुनकर परिवार के सदस्य कमरे में पहुंचे, जहां उन्होंने निखिल को गंभीर रूप से घायल पाया। उसे तुरंत नजदीकी अस्पताल ले जाया गया, लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। महाराजपुरा पुलिस ने हथियार को जब्त कर लिया है और मामले की गहन जांच शुरू कर दी है।


पुलिस को आत्महत्या की सूचना मिली है। मामला दर्ज कर लिया गया है और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। पुलिस ने बताया कि घटनास्थल से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है। परिवार के अनुसार, निखिल एक प्रतिभाशाली और समर्पित छात्र था, जिसने हाल ही में कक्षा 12वीं में अच्छे अंक प्राप्त किए थे। NEET की उत्तर कुंजी का परिणाम उसके लिए निराशाजनक था, जिससे वह तनाव में आ गया था।


बंदूक जब्त और जांच जारी

बंदूक जब्त


सीएसपी सिंह ने कहा कि बंदूक को जब्त कर लिया गया है और हम मामले की सभी संभावित पहलुओं से जांच कर रहे हैं। परिवार के सदस्यों के अनुसार, निखिल एक केंद्रित छात्र था जो अपनी पढ़ाई को गंभीरता से लेता था। उसके पिता उसे कोचिंग कक्षाओं में ले जाते थे और पूरा परिवार उसकी शैक्षणिक आकांक्षाओं का समर्थन करता था। निखिल का बड़ा भाई वर्तमान में बीटेक की डिग्री कर रहा है।


नोट: आत्महत्या कभी भी समस्या का समाधान नहीं है। हर छात्र को यह समझना चाहिए कि अंक उनके ज्ञान का माप नहीं हैं। अगर आपको अपने सपनों से प्यार है, तो असफलता को भी स्वीकार करना सीखें। सभी छात्रों से अनुरोध है कि ऐसा कदम न उठाएं। अगर आपको जरूरत हो, तो अपने माता-पिता, दोस्तों या शिक्षकों से बात करें।